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घर में टॉयलेट न होने पर पत्नी ने की शिकायत, कोर्ट ने दिलाया तलाक
राजस्थान : हाल में रिलीज हुई फिल्म 'टॉयलेट एक प्रेम कथा' आपने देखी होगी, जिसमें घर में टॉयलेट न होने की वजह से नवविवाहिता ससुराल छोड़कर आ जाती है। लेकिन राजस्थान के भीलवाड़ा में इसी तरह की एक घटना हकीकत में घटी है। जहां एक महिला ने घर में शौचालय न होने के कारण पति के खिलाफ कोर्ट जाकर तलाक की अर्जी दायर की है।
दरअशल भीलवाड़ा में उपनगरपुर की रहने वाली महिला की शादी आटूण में हुई थी। शादी के बाद जब वह ससुराल पहुंची तो उसे पता चला कि घर में न ही शौचालय है, न ही सोने और बैठने के लिए अलग-अलग कमरा है। जिस वजह से उसे बरामदे में सोना पड़ता था।
उस महिला ने जब इसका विरोध किया तो ससुराल वाले उसे परेशान करने लगे। इसके बाद महिला ने ससुराल वाले और पति के खिलाफ सदर थाने में जाकर एफआईआर दर्ज करा दी। महिला ने बाद में भीलवाड़ा के पारिवारिक न्यायालय में तलाक की याचिका दायर कर दी।
पीड़ित महिला के वकील राजेश शर्मा ने बताया कि पीड़िता की शादी 2011 में हुई थी लेकिन ससुराल में शौचालय नहीं होने से खुले में शौच जाना पड़ता था। इस शर्मिंदगी से परेशान होकर पति को शौचालय बनाने के लिए कहा। पति ने शौचालय नहीं बनाया तो 20 अक्टूबर 2015 को भीलवाड़ा के पारिवारिक न्यायालय में तलाक की याचिका दायर कर दी।
कोर्ट ने आखिरकार इसे ससुराल में क्रूरता मानते हुए तलाक को मंजूरी दे दी। मामले की सुनवाई कर रहे न्यायाधीश राजेंद्र शर्मा ने कहा कि ये महिला के प्रति क्रूरता है और सामाजिक कलंक है। घर में शौचालय न होने की वजह से महिलाओं को अंधेरा होने का इंतजार करना पड़ता है। ऐसे में उन्हें शारीरिक परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
उन्होंने कहा कि बहनों की गरिमा के लिए क्या हम एक शौचालय की भी व्यवस्था नहीं कर सकते? 21 वीं सदी में खुले में शौच की प्रथा हमारे समाज पर कलंक है। तंबाकू, शराब और मोबाइल पर बेहिसाब खर्च करने वाले लोगों के घरों में शौचालय न होना बड़ी विडबंना है।