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बीजेपी विधायक ने सरेराह ईमानदार आईजी रमित शर्मा को हडकाया, सिपाही दरोगा की इस सरकार में औकात क्या?
शिव कुमार मिश्र
8 July 2018 3:10 AM GMT
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इलाहाबाद से बीजेपी विधायक हर्षवर्धन वाजपेयी ने कुछ दिन पहले पुलिस के तीन स्टार वाले अधिकारी को जूतों से मारने की बात कही थी लेकिन विधायक का कुछ नही हुआ और आज उसी विधायक ने आईपीएस अधिकारी और इलाहाबाद के आई जी ज़ोन रमित शर्मा की इज़्ज़त सरेराह उतारने की कोशिश की है।
सोचिए ख़ाकी कितनी मजबूर है। इस मजबूरी की वजह जानने के लिए जब मैने इलाहाबाद के एडीजी जोन से लेकर एडीजी ला एंड आर्डर और डीजीपी तक को फ़ोन मिलवाया तो सबने विषय सुनने के बाद बारी बारी से अपने फ़ोन बंद कर लिए।
कितनी शर्मनाक बात है और कितनी मजबूर हो चुकी है ख़ाकी जो अपने स्वार्थ के चलते अपने साथी को न्याय भी नही दिलवा सकते। इन्हीं विधायक जी ने मुख्यमंत्री के कार्यक्रम के दौरान एक इंस्पेक्टर को जुटे मारने की बात की थी। अधिकारीयों के हस्तक्षेप के बाद तब मामला सुलटा दिया गया। क्या आज उसी दया का यह परिणाम तो नहीं था।
आईपीएस अधिकारी रमित शर्मा एक नेक और ईमानदार अधिकारी के रूप में जाने जाते है। जहां जहाँ वो एसपी और एसएसपी के रूप में तैनात रहे उन्होंने एक मिशाल कायम की। अपनी लग्न के पक्के अधिकारी को जब इस तरह विधायक गण व्यवहार करेंगे तो आम पुलिस अधिकारी की क्या औकात होगी।
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