बिहार

बीजेपी एमएलसी ने किया विरोध का खुला एलान, टिकिट वितरण से है नाराज बोले ब्राह्मण समाज को किया बेइज्जत!

Special Coverage News
6 April 2019 9:44 AM GMT
बीजेपी एमएलसी ने किया विरोध का खुला एलान, टिकिट वितरण से है नाराज बोले ब्राह्मण समाज को किया बेइज्जत!
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बीजेपी एमएलएसी ने कहा कि नुकसान की परवाह किए बिना ब्रहम्मजन समाज की खातिर हमने कदम बढ़ा दिया है।

बिहार में जहाँ एनडीए और यूपीए में टिकिट वितरण से नाराजगी से पार पाना मुश्किल होता नजर आ रहा है। उधर राजद में तेजप्रताप अपनी बात कहकर आगे बढ़ते नजर आ रहे है तो बीजेपी एमएलसी सच्चीदानंद राय अपनी नाराजगी भी व्यक्त करते नजर आ रहे है। उनका कहना है कि पार्टी चाहे कुछ भी कहे में इस बात का विरोध जरुर करूंगा।


टिकट बंटवारे में भूमिहार-ब्राह्मण समाज को अहमियत नहीं दिए जाने से नाराज बीजेपी एमएलएसी सच्चिदानंद राय ने पार्टी नेतृत्व से बगावत कर दिया है। एमएलसी सच्चिदानंद राय ने बीजेपी पर गंभीर आरोप लगाए हैं और कहा है कि जिस समाज ने पार्टी को सींचने का काम किया उसे ही साइड लाईन कर दिया गया। ऐसे में अब चुप बैठना संभव नहीं। अगर आज हम चुप बैठ जाएंगे तो फिर तमाम अधिकार धीरे-धीरे छीन लिए जायेंगे।ऐसे में हमारी आने वाली पीढ़ी हमें माफ नहीं करेगी। बीजेपी एमएलएसी ने कहा कि नुकसान की परवाह किए बिना ब्रहम्मजन समाज की खातिर हमने कदम बढ़ा दिया है।


बीजेपी एमएलसी ने पार्टी नेतृत्व पर आरोप लगाया कि इस बार के चुनाव में बीजेपी ने भूमिहार समाज से सिर्फ 1 और ब्राहम्ण समाज से 2 उम्मीदवारों को टिकट दिया है। एमएलसी सच्चिदानंद राय ने बिहार बीजेपी पर आरोप लगाते हुए कहा कि आखिर सिर्फ इसी समाज को क्यों पीछे ढकेला जा रहा। क्यों हर चुनाव में इस समाज का प्रतिनिधित्व लगातार घटते जा रहा है। जबकि बीजेपी को यहां तक लाने में इस समाज की क्या भूमिका रही है किसी से छूपी नहीं है। उन्होनें कहा कि कहीं न कहीं बिहार बीजेपी के नेता भूमिहार-ब्राहम्ण समाज को कमजोर करने की कोशिश में हैं।


बीजेपी एमएलसी सच्चिदानंद राय ने कहा है कि बीजेपी नेतृत्व इस समाज के वोटरो को बंधूआ मजदूर समझता है।उन्होंने कहा कि यह बात सही है कि वे लालू प्रसाद की पार्टी के साथ नहीं जा सकते। लेकिन बीजेपी को छोडकर अगर विकल्प तैयार होता है तो फिर वहां जाने में कोई दिक्कत नहीं है। एमएलसी सच्चिदानंद राय ने पार्टी नेतृत्व को चेताया है और कहा है कि आप इस समाज को बंधूआ मजदूर न समझें। अगर आप यह समझते हैं तो आपकी भूल होगी। यह समाज अपनी ताकत दिखा सकता है। उन्होंने कहा कि जब सवर्ण समाज ने बीजेपी को तीन राज्यों में हरा दिया इसके बाद आनन-फानन मे सवर्णों को 10 फीसदी आरक्षण दिया गया। बिहार में भी वही हाल होने वाला है।इसके लिए उन्होंने कदम बढ़ा दिया है।


बीजेपी विधान पार्षद ने कहा कि उन्होंने अपने समाज की पीड़ा से नेतृत्व को अवगत कराया लेकिन उन लोगों ने इस पर कोई ध्यान नहीं दिया।लिहाजा अब कदम आगे बढ़ाने के सिवा कोई विकल्प नहीं बचा ।ऐसे में उन्हें पार्टी की तरफ से किए जाने वाले अनुशासननात्मक कार्रवाई की कोई चिंता नही है।

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