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म्यांमार : आंग सान सूची ने अगस्त में अन्नान से अपील की थी कि वे एक टीम के साथ रोहिंगिया मुसलमानों के जनसंहार के कारणों की जांच करें। हालिया वर्षों में रोहिंगिया मुसलमानों के विरुद्ध चरमपंथी बौद्धों की हिंसक कार्यवाहियों में सैकड़ों लोग मारे जा चुके हैं जबकि तीस हज़ार से अधिक रोहिंगिया मुसलमान बेघर हो गए हैं।
रोहिंगिया मुसलमान म्यांमार में नागरिक अधिकारों से वंचित हैं और एक लाख बीस हज़ार से अधिक रोहिंगिया मुसलमान शरणार्थी शिविरों में अत्यंत दयनीय स्थिति में जीवन बिता रहे हैं। प्रेस टीवी के अनुसार अन्नान एक टीम के साथ शुक्रवार को एेसी स्थिति में राख़ीन प्रांत पहुंचे कि जब म्यांमार के सरकारी आंकड़ों के अनुसार हालिया वर्षों में सेना के हाथों सैकड़ों रोहिंगिया मुसलमान मारे गए हैं।
कूफ़ी अन्नान के म्यांमार पहुंचने पर इस देश के कुछ सरकार विरोधियों ने सरकार के विरुद्ध नारे लगाए और विदेश मंत्री तथा सरकार की वरिष्ठ सलाहकार आंग सांग सूची के ख़िलाफ़ नारे लगाए। सूची विदित रूप से प्रजातांत्रिक सिद्धांतों पर कटिबद्धता की बात करती हैं लेकिन उन्होंने रोहिंगिया मुसलमानों की स्थिति की अनदेखी करके देश में नस्ली भेदभाव को औपचारिकता प्रदान कर दी है। संयुक्त राष्ट्र संघ के पूर्व महासचिव कूफ़ी अन्नान म्यांमार की सेना के हाथों रोहिंगिया मुसलमानों के जनसंहार के बारे में जांच के लिए राख़ीन प्रांत पहुंचे हैं।