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जम्मू-कश्मीर का नया नक्शा देख पाकिस्तान को लगी मिर्ची
पाकिस्तान ने रविवार को भारत के नए राजनीतिक मानचित्र को यह कहते हुए नकार दिया कि यह 'गलत, गैर कानूनी, झूठा' होने के साथ-साथ संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के प्रस्तावों का उल्लंघन करता है. पाकिस्तान विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा, "संयुक्त राष्ट्र के नक्शे के साथ असंगत इन राजनीतिक मानचित्रों को पाकिस्तान खारिज करता है."
पाकिस्तान ने कहा कि वह इस बात को दोहराता है कि "भारत द्वारा उठाया गया कोई भी कदम संयुक्त राष्ट्र द्वारा मान्य जम्मू एवं कश्मीर की स्थिति को बदल नहीं सकता है." भारत सरकार ने केंद्र शासित प्रदेशों जम्मू एवं कश्मीर और लद्दाख को अस्तित्व में आने के दो दिनों बाद शनिवार को अपने आधिकारिक मानचित्र जारी किए, जिसमें मुजफ्फराबाद, मीरपुर और गिलगित-बाल्टिस्तान केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा भारत के पूर्ण राजनीतिक मानचित्र के साथ-साथ सूबे के नक्शे भी जारी किए गए.
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इन मानचित्रों के साथ ही भारत का एक पूर्ण राजनीतिक मानचित्र भी जारी किया. पांच अगस्त को अनुच्छेद 370 को रद्द करने और जम्मू एवं कश्मीर से विशेष राज्य का दर्जा वापस लेने के बाद 31 अक्टूबर से राज्य दो केंद्रीय शासित प्रदेशों के रूप में अस्तित्व में आ गया है.
बता दें कि जम्मू-कश्मीर का बंटवारा हो चुका है. लद्दाख के साथ जम्मू-कश्मीर को भी केंद्र शासित प्रदेश (Union Territory) बना दिया गया है. जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के बीच संपत्ति के बंटवारे के लिए गृह मंत्रालय में एक समिति बनाई गई है. समिति की रिपोर्ट आने के बाद संपत्ति बंटवारे का काम शुरू होगा. इस बीच सरकार ने दोनों केंद्र शासित प्रदेशों का नक्शा भी जारी किया है.
जम्मू और कश्मीर और लद्दाख के केंद्र शासित प्रदेशों के गठन के बाद सरकार ने एक नया मानचित्र जारी किया है. इस नक्शे के अनुसार, दोनों केंद्रशासित राज्यों का भूगोल बदल गया है. खास बात यह है कि इसके बाद देश का आंतरिक भूगोल, सामान्य ज्ञान के सवाल और परीक्षाओं में पूछे जाने वाले सवाल भी अब बदल जाएंगे. बात भूगोल की है तो सबसे पहले ये जानना जरूरी है कि अब भारत के आंतरिक नक्शे में भी बड़ा बदलाव हो चुका है. देश में नौ केंद्र शासित प्रदेश बन गए हैं, जोकि 30 अक्टूबर तक सिर्फ सात थे. वहीं, राज्यों की संख्या अब 28 हो गई. पहले ये संख्या 29 थी.