इंदौर

पिता ने घर बेचकर बेटे को पढ़ाया, जब मिली यह खबर की बेटा आईएएस बन गया!

Special Coverage News
6 April 2019 9:22 AM GMT
पिता ने घर बेचकर बेटे को पढ़ाया, जब मिली यह खबर की बेटा आईएएस बन गया!
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भारतीय संघ लोक सेवा आयोग ने शुक्रवार को सिविल सेवा परीक्षा 2018 के नतीजे घोषित कर दिए। सितंबर-अक्टूबर 2018 में हुई मुख्य परीक्षा और फरवरी-मार्च 2019 में हुए इंटरव्यू के आधार पर जारी मेरिट में इंदौर के प्रदीप सिंह ने 93वीं रैंक हासिल की है।

प्रदीप के पिता पेट्रोल पंप पर गाडिय़ों में पेट्रोल भरने का काम करते हैं। उनकी मां गृहिणी हैं। उन्होंने बेटे की पढ़ाई के लिए अपना घर तक बेच दिया और किराए के मकान में रहने लगे। बेटे ने भी उन्हें निराश नहीं किया और पहले ही प्रयास में यूपीएससी में सफलता हासिल कर ली। उन्होंने परिवार के साथ पूरे शहर का नाम रोशन कर दिया।

21 वर्षीय प्रदीप सिंह की इस उपलब्धि पर पिता मनोज सिंह और मां अनीता देवी खुशी से फूले नहीं समा रहे हैं। इसकी जानकारी लगते ही परिजन व दोस्तों में भी खुशी की लहर दौड़ गई। प्रदीप सिंह ने गुजराती कॉलेज से स्कूलिंग और आईआईपीएस से बीकॉम ऑनर्स की डिग्री लेने के बाद दो साल दिल्ली में प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी की। प्रदीप का बड़ा भाई संदीप सिंह प्राइवेट कंपनी में जॉब करता है। प्रदीप की काबिलियत देखते हुए पिता ने स्कीम नं. 78 स्थित घर बेच दिया। फिलहाल परिवार किराए के घर में रह रहा है।

प्रदीप ने बताया, इस कामयाबी के पीछे मेरे परिवार ने काफी संघर्ष किया है। पिता और भाई ने मिलकर दिल्ली की पढ़ाई का खर्च उठाया। ग्रेजुएशन के बाद मैंने प्रशासनिक परीक्षा की तैयारी के साथ जॉब करने की इच्छा जताई तो घरवालों ने भरोसा जताते हुए कहा कि तुम अफसर बन सकते हो। मैं खुद को काफी खुशकिस्मत मानता हूं कि मैं उनकी उम्मीदों पर खरा उतरने में सफल रहा। प्रशासनिक सेवा में जाने का मुख्य मकसद समाजसेवा करना है।

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