अयोध्या

अयोध्या में मुरारी बापू की रामकथा में शामिल होने पहुंची मुंबई की सेक्स वर्कर्स

Special Coverage News
22 Dec 2018 6:23 AM GMT
अयोध्या में मुरारी बापू की रामकथा में शामिल होने पहुंची मुंबई की सेक्स वर्कर्स
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प्रख्यात कथा वाचक मुरारी बापू के आमंत्रण पर मुंबई के कमाठीपुरा से सेक्स वर्कर्स आयीं अयोध्या तो कुछ संतों ने जताया विरोध

अयोध्या से संदीप श्रीवास्तव की रिपोर्ट

अयोध्या : राम नगरी अयोध्या में मुरारी बापू की कथा का आयोजन किया जा रहा जिसमे देश भर से सेक्स वर्करों को भी आमंत्रित किया गया है। अयोध्या में रामकथा कहने के लिए प्रख्यात कथा वाचक मुरारी बापू प्राईवेट प्लेन से अयोध्या पहुंचे और उन्होंने रामलला का दर्शन भी किया। वहीँ इस कथा में शामिल होने आयीं सेक्स वर्कर्स को लेकर अयोध्या के कुछ संतों ने आपत्ति जाहिर की है। विरोध कर रहे लोगों ने कहा पवित्र नगरी में सेक्स वर्करों को इकट्ठा कर इस पवित्र भूमि को अपवित्र करने का काम किया जा रहा है।

मुरारी बापू की कथा में शामिल होने वाले सेक्स वर्करों को लेकर अयोध्या में कुछ संत व शिवसेना के लोगो द्वारा विरोध शुरू हो गया है। विरोध कर रहे लोगों का कहना है कि भगवान श्री राम की कथा का किसी प्रकार के विरोध नहीं है लेकिन अयोध्या जैसे पवित्र नगरी में सेक्स वर्करों को इकट्ठा कर इस पवित्र भूमि को अपवित्र करने का काम किया जा रहा है। अगर मुरारी बापू को देश की इतनी बड़ी चिंता हो तो वह कश्मीर और नक्सलवादियों के इलाकों में कथा का आयोजन करें जिस से लोगों को सद्बुद्धि मिले। इस प्रकार राम कथा के माध्यम से पवित्र अयोध्या में होने वाले इस आयोजनों पर रोक लगाई जानी चाहिए। इसके लिए स्थानीय सांसद व विधायक और जिला प्रशासन से शिकायत करेंगे। इस कार्यक्रम का विरोध पंडित प्रवीन शर्मा और धर्म सेना के अध्यक्ष संतोष दुबे ने किया है।

मुरारी बापू ने दिया ये जवाब

मुरारी बापू ने इसका जवाब दिया है उन्होंने विरोध करने वालों से कहा है कि शायद उन्होंने मानस नहीं पढ़ी है। मानस तुलसी दास जी ने स्वयं गणिका का उल्लेख राम चरित मानस में किया हैं।

मुरारी बापू ने कहा कि कोई बात नहीं है कि कोई विरोध कर रहा था लेकिन तुलसी दास जी ने स्वयं गणिका का उल्लेख राम चरित मानस में किया हैं। मानस को जिसने पढ़ा उसे पता हैं कि मानस में गणिका के उद्धार की बात कही गयी है, मै कोई नया काम करने नहीं आया हूँ। जिस तरह मानस हनुमान, मानस भरत, मानस दशरथ, मानस श्री राम इन सभी लेकर कथा कहता हूँ और इस बार हनुमान जी की प्रेरणा से लगा कि जो उपेक्षित और तिरस्कृत हैं उनको कथा कहूंगा। भगवान् श्री राम की पूरी यात्रा उद्धार और स्वीकार की थी इसी को लेकर हम आज प्रयास कर रहे हैं।

मुरारी बापू ने हनुमान जी की जाति पर दिया ये बयान

मुरारी बापू ने हनुमान जी की जाति बताने बालों को जवाब देते हुए कहा है कि बायु की कोई जाति नहीं होती है। हनुमान जी पवन पुत्र हैं उसको जाति में हम क्यों बाँटें और जो लोग कहें कि हनुमान जी हमारे हैं वो लोग हनुमान जी की मूर्ती अपने घर में रखकर 'हनुमान चालीसा' का पाठ तो करें।

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