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बिजली का बिल देख दलित को पड़ा दिल का दौरा, मौके पर तोडा दम

बिजली का बिल देख दलित को पड़ा दिल का दौरा, मौके पर तोडा दम
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यूपी के कौशांबी में बिजली विभाग का बेहद ही शर्मनाक कारनामा सामने आया है। इंसानियत का गला घोटते हुए विभाग के जेई ने बकाया बिल की वसूली कराने में इतनी तेजी दिखाई की एक दलित युवक की जान चली गयी। दलित की मौत के बाद उसका पूरा परिवार बेसहारा हो गया। संवेदनहीन विभाग के इस शर्मनाक कारनामो ने दो मासूमो के सिर से उसके बाप का साया छीन लिया तो वही उसकी पत्नी को विधवा बना दिया। क्या है पूरा मामला इस रिपोर्ट में देखिए।

कौशांबी में बिजली विभाग का बेहद ही शर्मनाक कारनामा। संवेदनहीन विभाग ने इंसानियत को किया तार-तार ! बकाया बिल की वसूलदारी के लिए जेई ने की सरेआम गुंडागर्दी। जेई की धमकियों से डरा दलित युवक ने तोड़ा मौके पर दम। दिल का दौरा पड़ने से गयी दलित युवक की जान। दलित की मौत के बाद उल्टे पाँव भागा जेई। जेई ने बना दिया दलित पत्नी को विधवा, दो मासूमो के सिर से छीन लिया बाप का साया। शिकायत के बाद भी पुलिस ने नही दर्ज किया मामला।
देश के पीएम और प्रदेश के सीएम भले ही दलितों को लेकर भरे मंच पर दरियादिली दिखाते हो, लेकिन कौशांबी में सरकारी मसीनरी ने दलितों के प्रति समाज मे भेदभाव को समाप्त करने वाली सरकार के इस मंशा को ही तार तार कर दिया है। अब जरा इन तस्वीरों को गौर से देखिए, जो कौशांबी के कसिया पूर्व गांव की है। ये तस्वीरें आपको अंदर तक झकझोर कर रख देगा। चौखट पर अपने सर को कभी पटकती...तो कभी पीट कर दहाड़े मार कर चीखती और चिल्लाती ये उस दुखियारी दलित महिला की पुकार है जिसके पति के मौत का जिम्मेदार बिजली विभाग का जेई और उसके ठेकेदार है। जेई ने इस दुखियारी महिला को विधवा बना दिया और इसके दोनों मासूमो के सिर से उसके पिता का साया छीन लिया। दलित महिला चीख-चीख कर उस विभाग के जेई और ठेकेदार को कोसती है जिसने उसके पूरे परिवार को बेसहारा बना दिया। जब 'हिंदी खबर' की टीम ने दुखियारी महिला के पति की मौत की वजह जानी तो संवेदनहीन जेई का बेहद शर्मनाक कारनामा सामने आया। अब हमारी टीम इस पूरे मामले में लगे गंभीर आरोपो के जवाब में विधुत उपकेंद्र मूरतगंज पहुंची तो जेई अपने दफ्तर में नही मौजूद मिले। हमारे संवाददाता ने जब जेई आशीष मौर्य को फोन कर उनसे मिलने की इच्छा जाहिर को तो जनाब को हमारी टीम की मंशा को शायद भांपते वक्त नही लगा और मिलने से साफ मना कर दिया।
दरअसल कोखराज थाना क्षेत्र के कसिया पूर्व गांव में यह दलित परिवार रहता है। तीन माह पूर्व परिवार के मुखिया रामू की तबियत बिगड़ी तो उसका इकलौता बेटा अजय ने अपने पिता का इलाज कराने के लिए जो भी उसके पास खेत था उसे साहूकार के हाँथ गिरवी रख दिया, लेकिन पिता रामू की मौत के बाद परिवार की सारी जिम्मेदारी अजय पर आ गयी। खेत तो साहूकार के पास गिरवी रख गया था, ऐसे में अजय मेहनत मजदूरी करके अपने परिवार का भरण पोषण करता था।
26 सितंबर को मूरतगंज विधुत उपकेंद्र के जेई आशीष मौर्य अपने कर्मचारी और बिल रीडिंग ठेकेदार उत्तम शुक्ला के साथ दलित अजय के घर पहुंचे, और मृतक रामू के नाम बिजली कनेक्सन पर 56141 रुपये बकाया राशि जमा करने के लिए उसके बेटे अजय से कहा। दलित अजय ने जेई साहब का पैर पकड़ कर बहुत गिड़गिड़ाया और अपना दुखड़ा सुनाकर थोड़ा वक्त मांगा, लेकिन जेई और उसके कर्मचारियों ने अजय को जातिसूचक शब्दो का इस्तेमाल कर बहुत ही भला बुरा कहा। इतना ही नही जेई साहब ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराने की धमकी देकर दलित के घर को नीलाम कर बिजली बकाया वसूलने की बात भी कही। जिसके बाद अजय को इतना सदमा लगा कि अचानक सीने में तेज दर्द उठा और मौके पर तड़प तड़प कर दम तोड़ दिया।
अजय की मौत के बाद ग्रामीणों का गुस्सा देखते हुए जेई अपने कर्मचारियो के साथ उल्टे पाव भाग गया। मृतक अजय की पत्नी सविता अपने पति की मौत का जिम्मेदार जेई और उनके कर्मचारियो को मानती है। दो साल के हिमांशु और आठ माह के दीपांशु के सिर से उसके पिता का साया छिनने वाला जेई अब मीडिया के सवालों से कतराता फिरता है। ऐसे में सवाल तो उठना लाजिमी है कि शिकायत के बाद भी न तो जिम्मेदार अधिकारियों ने संज्ञान लिया और न ही कोखराज पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ अभी तक मामला दर्ज किया।
रिपोर्ट नितिन अग्रहरी

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