मंगलवार को इन उपायों को करने से दूर होगा हर संकट
आज मंगलवार है. आज के दिन भगवान श्री राम के परम भक्त हनुमान जी की पूजा की जाती है.
आज मंगलवार है. आज के दिन भगवान श्री राम के परम भक्त हनुमान जी की पूजा की जाती है. ऐसी मान्यता है कि कलयुग में हनुमान जी स्थायी भगवान है. शायद यही कारण है कि इनके भक्तों की लाइन बहुत लंबी हैं. संकटमोचन हनुमान की निरंतर पूजा से भूत-पिशाच, शनि और ग्रह बाधा, रोग और शोक, कोर्ट-कचहरी-जेल बंधन से मुक्ति, मारण-सम्मोहन-उच्चाटन, घटना-दुर्घटना से बचना, मंगल दोष, कर्ज से मुक्ति, बेरोजगार और तनाव या चिंता से मुक्ति मिल जाती है. जो व्यक्ति उनकी सेवा करता है उस पर कोई संकट नहीं आता है. चलिए जानते है कैसे की जानी चाहिए हनुमान जी की सेवा....
मंगलवार को बजरंगबली के 12 नाम का स्मरण करने से न सिर्फ उम्र में वृद्धि होती है बल्कि समस्त सांसारिक सुखों की प्राप्ति भी होती है. हनुमानजी अपने भक्तों की दसों दिशाओं और आकाश-पाताल से रक्षा करते हैं. हनुमानजी सर्वशक्तिमान और सर्वोच्च देव हैं. हनुमानजी की कृपा पाने के लिए कुछ तरीकों को अपनाना जरूरी है. इसके लिए सबसे पहले आप अपने घर में हनुमानजी का एक अच्छा से चित्र या मूर्ति स्थापित करें और प्रत्येक मंगलवार उसकी पूजा करें. आइए जानते जैं बजरंगबली की सेवा करने के खास 10 तरीकों के बारे में.
प्रतिदिन हनुमान चालीसा पढ़ें, वह भी एक ही जगह बैठकर.
-प्रतिदिन हनुमानजी के समक्ष तीन कोनों वाला दीपक जलाएं. दीपक में चमेली का तेजल जरूर रखें.
-जब भी इच्छा हो हनुमानजी को चौला चढ़ाएं, बीड़ा अर्पण करें और गुड़ और चने का प्रसाद चढ़ाएं.
-हनुमंते नमः का प्रतिदिन 108 बार जाप करें या साबरमंत्र को सिद्ध करें.
-महीने में एक बार सुंदरकांड और बजरंगबाण का पाठ जरूर करें.
-सिद्ध किया हुआ हनुमानजी का कड़ा पहनें. यह कड़ा पीतल का होना चाहिए.
-हनुमानजी को मंगलवार, शनिवार और हनुमान जयंती पर केसरिया बूंदी लड्डू, इमरती, बेसन के लड्डू, चूरमा, मालपुआ या मलाई-मिश्री के लड्डू का भोग जरुर लगाएं.
हनुमानजी के साथ ही भगवान राम, लक्ष्मण और सीता माता की भी पूजा अच्छे से करें.
-प्रत्येक मंगलवार को व्रत रखकर विधिवत रूप से हनुमानजी की पूजा करें.
-यदि आप घोर संकट से घिरे हैं या आप हनुमानजी की पूर्ण भक्ति करना चाहते हैं तो फिर आपको मांस, मदिरा और सभी तरह का व्यवसन त्याग कर ब्रह्मचर्य का पालन करते हुए प्रतिदिन विधि-विधान से हनुमानजी की पूजा या उनके मंत्र का जप करना चाहिए.