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कैमूर में युवती की हत्या से गुस्साई भीड़ ने थाने में लगाई आग, पुलिस की गाड़ियां फूंकी
बिहार के कैमूर में आक्रोशित भीड़ ने शुक्रवार को रामगढ़ थाने को जलाने का प्रयास किया। जमकर आगजनी की और पथराव किया। सड़क जाम कर दिया और गाड़ियों को आग के हवाले कर दिया। जानकारी के अनुसार पुलिस ने बचाव में कई राउंड गोलियां भी चलाईं। बताया जा रहा है कि लोग दलित युवती की हत्या से आक्रोशित हो गए थे।
मामला रामगढ थाने के बरौडा गांव का है। तनाव के माहौल में फिलहाल कैमूर पुलिस की टीम कैम्प कर रही है। ग्रामीण युवती का शव को रख कर आरोपी की गिरफ्तारी की मांग कर रहे हैं। वे डीएम और एसपी को घटनास्थल पर बुलाने की मांग कर रहे हैं।
रिजनों का कहना है कि युवती शशि लता सीए सपी में पैसे निकालने के लिए दस दिन से परेशान थी। सीएसपी संचालक बार-बार नेट स्लो की बात करता था। युवती को दो हजार रुपये आवश्यकता थी। बताया जा रहा है कि उसने तंग आकर सीएसपी संचालक से कहा कि मेरा पैसा नहीं निकला तो मैं थाने में FIR कर दूंगी।
आरोप है कि संचालक ने धमकी देते हुए कहा कि तुम्हें जो करना है करो, पैसा नहीं देंगे। मामला थाने पहुंचा पुलिस सीएसपी संचालक को थाने लेकर आई। दूसरे दिन संचालक ने युवती को समझा-बुझाकर थाने में आवेदन देने और पैसे देने को लेकर आया, लेकिन युवती घर नहीं पहुंची।
जब मोहनियां के जीआरपी ने घरवालों को बताया कि आपकी बेटी रेलवे ट्रैक पर पड़ी है तो परिवारवाले युवती को बनारस ले गए, जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। युवती का सिर फटा हुआ था और चाकू मारा हुआ था।
परिजनों का आरोप है कि सीएसपी संचालक ने ही घटना को अंजाम दिया है और उस पर कार्रवाई की जाए। युवती के शव को लेकर परिजन और ग्रामीण थाने पहुंचे और सड़क जाम कर दिया। फिर पुलिस से नोंक-झोंक हुई। जिसके बाद पुलिस और ग्रामीण आपस में भिड़ गए। लोग इतने आक्रोशित हो गए कि थाने पर हमला बोल दिया।