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बजट पेश होने से पहले सरकार को मिली बड़ी खुशखबरी, इस मोर्चे पर मिली कामयाबी
नई दिल्ली : आज सुबह 11 बजे वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण वित्त वर्ष 2021-22 के लिए बजट पेश करेंगी. उससे पहले सरकार के लिए राहत की खबर आई है. जनवरी महीने में जीएसटी कलेक्शन में रिकॉर्ड तेजी आई है. जनवरी महीने में कुल जीएसटी कलेक्शन 1.20 लाख करोड़ रुपए पर पहुंच गया. वित्त मंत्रालय ने रविवार को इसकी जानकारी दी.
मंत्रालय ने कहा कि यह पिछले पांच महीनों में जीएसटी राजस्व संग्रह के रुख के अनुरूप है. जनवरी 2021 में जीएसटी संग्रह साल भर पहले की तुलना में आठ प्रतिशत अधिक है. वित्त मंत्रालय ने एक बयान में कहा, 'जनवरी 2021 में 31 तारीख की शाम छह बजे तक जीएसटी राजस्व संग्रह 1,19,847 करोड़ रुपए रहा. इसमें केंद्रीय जीएसटी (CGST) 21,923 करोड़ रुपए, राज्यों का जीएसटी (SGST) 29,014 करोड़ रुपए, एकीकृत जीएसटी (IGST) 60,288 करोड़ रुपए (सामानों के आयात से प्राप्त 27,424 करोड़ रुपए) और सेर 8,622 करोड़ रुपए (माल के आयात पर एकत्र 883 करोड़ रुपए सहित) शामिल है.' जीएसटी बिक्री रिटर्न दाखिल करने की अधिक संख्या के कारण यह आंकड़ा और अधिक हो सकता है.
जीएसटी फ्रॉड पर नकेल कसने के कारण कलेक्शन बढ़ा
जीएसटी कलेक्शन में आई तेजी को लेकर सरकारी सूत्रों का कहना है कि पिछले कुछ समय में विभाग की तरफ से टैक्स फ्रॉड के मामले में सख्ती बरती गई है. इसके कारण रिटर्न फाइलिंग में तेजी आई है. नवंबर 2020 से अब तक 274 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है, जबकि 8500 बोगस कंपनियों के खिलाफ 2700 मामले दर्ज किए गए हैं. इस कार्रवाई के कारण सरकारी खजाने में 858 करोड़ रुपए आए. टैक्स जानकारों का कहना है कि अमूमन वित्त वर्ष की आखिरी तिमाही (जनवरी-मार्च) में टैक्स क लेक्शन में तेजी आती है. कंपनियां सेल्स टार्गेट पूरा करने के लिए ज्यादा कोशिश करती हैं, जिसके कारण व्यापार बढ़ता है और टैक्स कलेक्शन में भी तेजी आती है.
जीएसटी कलेक्शन के आंकड़ों पर गौर करें तो वित्त वर्ष 2020-21 की पहली छमाही यानी अप्रैल-सितंबर के बीच औसत कलेक्श में 24 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई है. हालांकि दूसरी छमाही में इसमें 8 फीसदी का तेजी देखी जा रही है. जनवरी में इंपोर्ट गुड्स रेवेन्यू में 16 फीसदी की तेजी आई है. इसके अलावा डोमेस्टिक ट्रांजैक्शन रेवेन्यू में 6 फीसदी की तेजी दर्ज की गई है.