दिल्ली

दिल्ली में हो रहे हिंसा पर गौतम गंभीर का बड़ा बयान, कहा- कपिल मिश्रा हो या...

Sujeet Kumar Gupta
25 Feb 2020 7:52 AM GMT
दिल्ली में हो रहे हिंसा पर गौतम गंभीर का बड़ा बयान, कहा- कपिल मिश्रा हो या...
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पिछले करीब दो महीने से नागरिकता कानून और एनआरसी के विरोध में दिल्ली के कई इलाकों में चल रहे विरोध प्रदर्शन ने शनिवार को ही भीषण रूप ले लिया है और ये प्रदर्शनकारी उग्र हो गये है।

दिल्ली के ब्रह्मपुरी और मौजपुर इलाके में तीसरे दिन भी पत्थरबाजी और हिंसक प्रदर्शन जारी है। आज सुबह ही कुछ इलाकों में उपद्रवियों ने पत्थरबाजी शुरू कर दी। रविवार से शुरू हुई हिंसा में अब तक एक हेड कांस्टेबल समेत सात लोगों की मौत हो चुकी है। वहीं एहतियात के तौर पर पांच मेट्रो स्टेशन, जाफराबाद, मौजपुर-बाबरपुर, गोकुलपुरी, जौहरी एंक्लेव और शिव विहार बंद कर दिए हैं।

वही पूर्वी दिल्ली के बीजेपी सांसद और पूर्व क्रिकेटर गौतम गंभीर ने दिल्ली हिंसा की घटना के जिम्मेदार लोगों पर कार्रवाई की बात कही है. मीडिया से बातचीत में गंभीर ने कहा कि इस मामले में बीजेपी नेता कपिल मिश्रा हो या कोई और उनपर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए. उन्होंने कहा मैं कभी भी इस चीज़ को स्वीकार नहीं करूंगा की कोई भी जाकर लोगों को भड़काए.

गंभीर ने कहा कि आप लोगों को भड़का कर चले जाते हैं, लेकिन पुलिस वाले और उनके परिवार वालों के बारे में भी सोचिये. गंभीर ने कहा कि अगर यूनिफार्म वालों पर अटैक हो रहा है तो आम जनता कैसे सेफ महसूस करेगी।

गौतम गंभीर ने कहा कि दिल्ली में लोग शांति से रहना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि बातचीत से सारी समस्या का समाधान निकलता है. गंभीर ने ये भी कहा कि यह सब प्लांड तरीके से हो रहा है. उनका मानना है कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रम्प यहां आये हुए हैं।

बतादें कि पिछले करीब दो महीने से नागरिकता कानून और एनआरसी के विरोध में दिल्ली के कई इलाकों में चल रहे विरोध प्रदर्शन ने शनिवार को ही भीषण रूप ले लिया है। रविवार से ही मौजपुर, जाफराबाद और बाबरपुर में हिंसक घटनाएं हो रही हैं। सोमवार को इन इलाकों में उपद्रवियों ने कई गाड़ियों में आग लगा दी है, कई घरों में घुसकर तोड़-फोड़ कर दी।

इससे पहले सोमवार को जाफराबाद और मौजपुर इलाके में सीएए विरोधी और समर्थक गुट आमने-सामने आ गए थे। यहां कबीर नगर और कर्दमपुरी की तरफ से पथराव होने लगा। हजारों की भीड़ को संभालना पुलिस के लिए चुनौती बन गया, जिस वजह से सैकड़ों की संख्या में आंसू गैस के गोले भी दागे गए। इस दौरान हिंसा में हेड कॉन्स्टेबल रतन लाल समेत 7 लोगों की मौत हो गई। शहादरा के डीसीपी अमित शर्मा, एसीपी अनुज कुमार और दमकल कर्मियों समेत 40 जवान जख्मी हैं। 70 लोग घायल हुए। पुलिस ने कहा कि स्थिति नियंत्रण में है, लेकिन कई इलाकों में तनाव है। हिंसा प्रभावित इलाकों में अर्धसैनिक बलों की 35 कंपनियां तैनात हैं।।


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