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शाहरुख के बेटे 7 अक्टूबर तक NCB की रिमांड पर रहेंगे, जानें आर्यन पर कौन-कौन सी लगी हैं धाराएं
ड्रग्स केस में शाहरुख खान (Shah Rukh Khan) के बेटे आर्यन खान (Aryan Khan) को राहत नहीं मिली है। मुंबई की कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी। आर्यन समेत दो और लोग सात अक्तूबर तक एनसीबी की हिरासत में ही रहेंगे। सोमवार को मुंबई की किला कोर्ट में NCB ने 11 अक्टूबर तक की रिमांड मांगी थी।
एक दिन की कस्टडी के बाद सोमवार (4 अक्टूबर) को आर्यन को अन्य आरोपियों के साथ कोर्ट में पेश किया गया। जहां एक ओर एनसीबी की ओर से 13 अक्टूबर तक कस्टडी मांगी गई है तो वहीं आर्यन खान की ओर से वकील सतीश मानेशिंदे बेल की मांग कर रहे थे।
इससे पहले नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) ने लंबी पूछताछ के बाद आर्यन समेत अरबाज मर्चेंट और मुनमुन धमीचा को रविवार शाम गिरफ्तार कर लिया था। रविवार शाम को सात बजे तीनों का मेडिकल टेस्ट किया गया। टेस्ट के बाद सभी को हॉलिडे कोर्ट में पेश किया गया। जहां से कोर्ट ने तीनों को एक दिन की एनसीबी कस्टडी में भेज दिया था।
कोर्ट की बहस
वकील सतीश मानशिंदे ने आर्यन की ओर से कहा...
मैं अधिकार के तौर पर जमानत नहीं मांग रहा हूं। सच्चाई ये है कि मुझे (मुवक्किल यानी आर्यन) क्रूज पर हिरासत में नहीं लिया गया। मुझे वहां स्पेशल गेस्ट के तौर पर इनवाइट किया गया था। मैं एक दोस्त के साथ वहां गया था। मैं तो ये भी नहीं जानता कि क्रूज पर मुझे कौनसा केबिन अलॉट किया गया था।
मैंने क्रूज पर जाने के लिए एक भी पैसा नहीं दिया और न ही मैं किसी ऑर्गनाइजर को जानता हूं। जो पंचनामा तैयार किया गया है, उसमें मोबाइल के अलावा मुझसे किसी तरह की बरामदगी नहीं दिखाई गई है। दोस्त को इसलिए गिरफ्तार किया गया, क्योंकि उसके पास 6 ग्राम चरस थी। इससे मेरा कोई ताल्लुक नहीं।
रिमांड मांगने के लिए जो बरामदगी दिखाई गई है, वो हममें से किसी के पास से बरामद नहीं हुई। यह बरामदगी दूसरे आरोपियों से हुई है और मुझे इससे जोड़ा जा रहा है। पूछताछ के दौरान मेरे वॉट्सअप चैट्स डाउनलोड किए गए। अब ये दावा किया जा रहा है कि मैं इंटरनेशनल ड्रग ट्रैफिकिंग से जुड़ा हुआ हूं।
यहां मैं साफ कर देना चाहता हूं कि जितना वक्त मैंने विदेश में गुजारा, मेरा किसी ड्रग ट्रैफिकिंग, सप्लाई या डिस्ट्रीब्यूशन से कोई ताल्लुक नहीं रहा। मेरे चैट्स, डाउनलोड्स, पिक्चर्स या किसी और चीज से यह कतई साबित नहीं होता कि मेरा इस मामले से कोई संबंध है।
अगर ड्रग्स के बारे में कोई बातचीत हुई भी है तो इसका यह मतलब कतई नहीं है कि मैं ड्रग ट्रैफिकिंग से जुड़ा हुआ हूं। रिया चक्रवर्ती के मामले में भी धारा 27ए हटाई गई थी। इसलिए मुझे रिमांड पर भेजने के बजाए जमानत दी जाए। रिकवरी की भी अब कोई जरूरत नहीं है और न ही इसके लिए हिरासत में रखे जाने की कोई वजह बनती है।
ASG का जवाब
हम कस्टडी की अर्जी लगा रहे हैं। इसके पहले जमानत कैसे मांगी जा सकती है। इस पर मजिस्ट्रेट ने कहा कि बहस से ऐसा लगता है कि वकील (मानशिंदे) पुलिस कस्टडी चाहते हैं और इसके साथ ही उन्हें अपने मुवक्किल के लिए जमानत भी चाहिए।
इस पर मानशिंदे ने सुप्रीम कोर्ट के एक पुराने फैसले का हवाला देते हुए कहा कि वॉट्सअप चैट्स के आधार पर किसी को आरोपी नहीं बनाया जा सकता। उन्होंने इस मामले में रिया चक्रवर्ती केस का हवाला भी दिया।
ASG ने कहा कि आरोपी आर्यन शिप पर बुलावे के बाद गया था। वह वहां उन लोगों के बीच मौजूद था, जिन्हें ड्रग्स के साथ पकड़ा गया है। उनके और दूसरे लोगों के बीच नशीली दवाओं के बारे में बातचीत हो रही थी। इन सभी बातों की गहन जांच होनी चाहिए।
मैसेज में जिन बातों का जिक्र है वो रिमांड की सुनवाई के लिए प्रासंगिक नहीं हो सकता, लेकिन अज्ञात लोगों के साथ चैट है। थोक खरीदी का भी चैट में जिक्र है। इसकी जांच होनी चाहिए।
इससे पता चलता है कि आर्यन और बाकी लोगों के बीच कुछ कनेक्शन था। सभी नियमित संपर्क में थें। इसमें सप्लायर को समझा जा सकता है। यह किसी को पूरी तरह से निर्दोष दिखा सकता है।
आप उन व्यक्तियों की हिरासत में पाए गए जिनके पास यह प्रतिबंधित सामग्री पाई गई थी। ड्रग्स डीलर्स के साथ आपकी बातचीत होती है। ये सभी परिस्थितियां जांच की ओर ले जा रही हैं। हम जांच के प्रारंभिक चरण में हैं। इसलिए जमानत पर अभी विचार करने की जरूरत नहीं है। कोर्ट हिरासत के लिए समय बढ़ाने पर विचार करे।
आर्यन पर लगी हैं ये धाराएं
आर्यन खान पर NDPC 8 C, 20 B, 27 और 35 की धाराएं लगाई गई हैं। इन धाराओं के तहत ड्रग्स का सेवन करना, जानबूझकर ड्रग्स लेना और ड्रग्स खरीदने जैसी चीजें आती हैं। इन्हीं के तहत आर्यन की गिरफ्तारी हुई है। सूत्रों के मुताबिक आर्यन खान ने माना है कि उन्होंने ड्रग्स का सेवन किया था। हालांकि आर्यन ने ड्रग्स खरीदने की बात से मना कर दिया है। आर्यन के पास से किसी ड्रग की बरामदगी भी नहीं हुई है।