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चीन और पाकिस्तान के पास भले ही ज्यादा हो एटम बम, पर भारत क्यों नहीं डरता?
नई दिल्ली: भले ही चीन और पाकिस्तान के पास भारत के मुकाबले परमाणु हथियार ज्यादा हों लेकिन नई दिल्ली अपने न्यूक्लियर वेपन की क्षमता को लेकर आश्वस्त है। यहीं नहीं, भारत लगातार अपने एटमी हथियारों को उन्नत कर रहा है। जमीन से हवा तक भारत की एटमी ताकत बेहद मजबूत है। समुद्र में भी भारत की एटमी ताकत को भेदना आसान नहीं है। दरअसल, परमाणु हथियारों पर नजर रखने वाली अंतरराष्ट्रीय संस्था स्टॉकहोम इंटरनैशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट (SIPRI) की रिपोर्ट के अनुसार चीन लगातार अपने एटमी हथियारों के जखीरे को बढ़ा रहा है।
चीन, पाकिस्तान के पास भारत से ज्यादा एटम बम
SIPRI के मुताबिक चीन के पास भारत से दोगुने 320 ऐटमी हथियार हैं जबकि पाकिस्तान के पास 160 परमाणु वेपन है। भारत के पास 150 परमाणु हथियार है। चीन ने पिछले एक साल में 30 परमाणु हथियार बढ़ाए हैं, वहीं भारत ने 10 एटम बम।
भारत को नहीं है कोई चिंता, जान लें कारण
भले ही चीन और पाकिस्तान के पास ज्यादा एटमी हथियार हों लेकिन भारत अपने वेपन को लेकर बेहद निश्चिंत है। भारतीय डिफेंस सूत्रों के अनुसार, परमाणु हथियारों की गिनती से कुछ नहीं होता है। उन्होंने बताया कि भारत लगातार अपने परमाणु हथियारों को उन्नत बना रहा है। भारत अपने हथियारों को प्रभावकारी, निश्चित और सेंकडों में हमला की मारक क्षमता से लगातार अपडेट कर रहा है।
जानें, किस देश के पास कितने परमाणु हथियार
गौरतलब है कि SIPRI की रिपोर्ट उस समय आई है जब पूर्वी लद्दाख पर चीन के साथ भारत की तनातनी चल रही है। भारत और चीन के बीच 3,488 किलोमीटर लंबी वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC)है। उधर पाकिस्तान सीमा पार से लगातार सीजफायर उल्लंघन कर रहा है।
चीन, पाकिस्तान को ये है जवाब
भारत अग्नि मिसाइलों को लगातार अपडेट कर रहा है। जमीनी ताकत मजबूत करने के लिए भारत तेजी से काम कर रहा है। 700 किलोमीटर तक मार करने वाले अग्नि-1 से लेकर 5,000 किलोमीटर तक मार करने वाली अग्नि-V मिसाइल तैयार है। यही नहीं, हवा में भारत पड़ोसी देशों को मात देने की रणनीति बना चुका है। लड़ाकू विमान मिराज-2000 और जगुआर को एटम बम गिराने की क्षमता से लैस किया जा चुका है। परमाणु हथियारों से लैस भारत की पहली सबमरीन INS अरिहंत 2018 में भी भारतीय नौसेना में शामिल हो चुका है। 3,500 किलोमीटर तक मार करने वाली K-4 सबमरीन बलिस्टिक मिसाइल का दो बार परीक्षण इस साल जनवरी में किया जा चुका है और जल्द ही इसका उत्पादन शुरू हो सकता है। जल्द ही K-4 मिसाइल 750 किलोमीटर तक मार करने वाली K-15 मिसाइल की जगह ले लेगा।
पाकिस्तान के पास नहीं कोई जवाब
पाकिस्तान की नौसेना के भारत की नौसेना के सामने अभी बेहद कमजोर है। हालांकि पाकिस्तान ने 450 किलोमीटर तक मार करने वाली सबमरीन बलिस्टिक मिसाइल बाबर-3 का विकास जरूर किया है और इसका पहला परीक्षण 2017 में किया गया था। हालांकि चीन इस मामले में आगे है। पेइचिंग जिन क्लास सबमरीन से लैस है उसके पास 7,400 किलोमीटर तक मार करने वाली JL-2 बलिस्टिक मिसाइल है। हां ये जरूर है कि भारत चीन, पाकिस्तान और उत्तर कोरिया के बीच गुप्त रूप से चल रहे मिसाइल समझौते को लेकर चिंतित है।