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बड़ी खबर: मुख्यमंत्री देवेंद्र फडंनवीस कुछ देर में दे सकते है इस्तीफा!

Special Coverage News
26 Nov 2019 9:09 AM GMT
बड़ी खबर: मुख्यमंत्री देवेंद्र फडंनवीस कुछ देर में दे सकते है इस्तीफा!
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अभी अभी उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने डिप्टी सीएम के पद से इस्तीफा दे दिया है.जबकि मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस 3:30 बजे प्रेस कॉन्फ्रेंस करेंगे . महाराष्ट्र में 40 विधायकों पर अटकी है BJP और अजित पवार की सांसे. इस बात को अजीत पवार के बेटे ने गलत बताया है. जबकि अभी अभी सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस 3:30 बजे प्रेस कॉन्फ्रेंस करके अपने इस्तीफे की घोषणा कर सकते है.

इधर जब अजीत पवार के इस्तीफे की खबर के बाद लोकसभा में ही पीएम मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और जेपी नड्डा की मीटिंग चल रही है. अब सूत्रों से पता चल रहा है उससे यह है कि बीजेपी ने अपनी हार मान ली है.

एनडीए के मंत्री और रिपब्लिक पार्टी के नेता रामदास अठावले ने कहा है कि महाराष्ट्र की बीजेपी सरकार के पास अब बहुमत नहीं है. हमें सिर्फ और सिर्फ अजीत पवार के उत्तर का इंतजार है अगर एनसीपी साथ आती है तभी हम अपना बहुमत सिद्ध कर पाएंगे. महाराष्ट्र कांड पर सुप्रीमकोर्ट का फैसला बिल्कुल साफ है. हालांकि विधायिका के मामलों में न्यायपालिका आमतौर पर दखल देने में परहेज़ दिखाती है. लेकिन संविधान की रक्षा करना उसका काम है सो उसे विधायिका के मामले सुनने पड़ते हैं और अपना फैसला देना ही पड़ता है.

इसीलिए अदालत ने सुना और ऐसा फैसला दिया कि जो काम विधानसभा में होता है वह वहां ही होगा. इस मामले में एक विवाद सदन में बहुमत परीक्षण के समय को लेकर भी था. सो नजीरों के मुताबिक यह तय किया गया कि तीस घंटे के भीतर बहुमत परीक्षण कराया जाए. ये बात करना फिजूल है कि फैसला किस के पक्ष में है और किसके खिलाफ है. क्योंकि बहुमत पर फैसला तो सदन में होना है. फिर भी इतना जरूर कहा जा सकता है कि अदालत ने डेढ़ दिन के भीतर परीक्षण का निर्देश देकर तमाम अनैतिकताओं की संभावनाओं को कम या खत्म कर दिया है.

महाराष्ट्र में विधानसभा में कुल 288 सीटें है, यानी सरकार बनाने के लिए यहां मैजिक नंबर 145 है. बीजेपी को इस आंकड़े तक पहुंचने के लिए 40 और विधायकों की जरूरत है. बीजेपी के नेता दावा कर रहे हैं कि उन्हें कुल 170 विधायकों का समर्थन हासिल है. ऐसे में अजित पवार को एनसीपी के कम 35-40 विधायकों के साथ बीजेपी को समर्थन देना होगा. अगर एक-दो विधायक कम पड़ते हैं तो फिर निर्दलीय और शिवसेना के विधायक भी बीजेपी के पाले में आ सकते हैं. बीजेपी नेता पहले ही ये कह चुके हैं कि अगर कोई सरकार बनाने में उनका समर्थन करना चाहते हैं तो वे उनका स्वागत करेंगे.

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