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Lockdown 5.0 : देशभर में 30 जून तक बढ़ा लॉकडाउन, 3 चरण में दी जाएगी छूट, पढ़ें- क्या हैं नियम

Arun Mishra
30 May 2020 1:59 PM GMT
Lockdown 5.0 : देशभर में 30 जून तक बढ़ा लॉकडाउन, 3 चरण में दी जाएगी छूट, पढ़ें- क्या हैं नियम
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लॉकडाउन 5.0 की गाइडलाइंस सरकार ने जारी कर दी है?

कोरोना वायरस से निपटने के लिए देश में एक बार फिर से लॉकडाउन लागू कर दिया है. लॉकडाउन 5.0 की गाइडलाइंस सरकार ने जारी कर दी है. कंटेनमेंट जोन के बाहर सरकार की ओर से चरणबद्ध तरीके से छूट दी गई है. लॉकडाउन 5.0 1 जून से 30 जून तक रहेगा. स्कूल-कॉलेज खोलने का फैसला केंद्र ने राज्यों पर छोड़ दिया है. जुलाई में राज्य इसपर फैसला लेंगे. होटल, धार्मिक स्थल, रेस्टोरेंट 8 जून से खोल दिए जाएंगे. हालांकि सरकार ने शर्तों के साथ खोलने की इजाजत दी है.

देशभर में रात 9 बजे से सुबह 5 बजे तक कर्फ्यू लागू रहेगा. लोग एक राज्य से दूसरे राज्य जा सकेंगे. लोगों को अब पास दिखाने की भी जरूरत नहीं पड़ेगी.वहीं, शॉपिंग मॉल्स और सैलून को भी खोलने की इजाजत दे दी गई है.

पहले चरण में खुलेगी ये चीजें

पहले चरण में सार्वजनिक स्थानों और पूजा के सार्वजनिक स्थान, होटल, रेस्तरां और अन्य आतिथ्य सेवाएं और शॉपिंग मॉल को 8 जून, 2020 से खोलने की अनुमति दी जाएगी. सरकार इस संबंध में दिशानिर्देश जारी करेगी.

दूसरे चरण में शैक्षिणक संस्थान खोले जाएंगे

दूसरे चरण में स्कूल, कॉलेज, शैक्षिक / प्रशिक्षण / कोचिंग संस्थान आदि, राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के साथ विचार-विमर्श के बाद खोले जाएंगे.

तीसरे चरण में इंटरनेशल फ्लाइट्स और इन चीजों को खोलने पर होगा विचार

तीसरे चरण में अंतर्राष्ट्रीय हवाई यात्रा, मेट्रो रेल का संचालन, सिनेमा हॉल, व्यायामशाला, स्विमिंग पूल, मनोरंजन पार्क आदि के लिए तिथियों का निर्धारण स्थिति के आकलन के आधार पर किया जाएगा .

रात 9 बजे से सुबह 5 बजे तक निकलना होगा बैन

गृहमंत्रालय की तरफ से जारी गाइडलाइंस में कहा गया है कि आवश्यक गतिविधियों को छोड़कर पूरे देश में रात 9 बजे से सुबह 5 बजे के बीच लोगों की आवाजाही पूरी तरह से प्रतिबंधित रहेगी.

कंटेनमेंट जोन में अभी भी लॉकडाउन

कंटेनमेंट जोन में 30 जून तक लॉकडाउन लागू रहेगा। कंटेनमेंट जोन में सिर्फ जरूरी सेवाओं की ही इजाजत होगी। इस बात का खास ध्यान रखा जाएगा कि कंटेनमेंट जोन में लोगों का मूवमेंट ना हो। कंटेनमेंट जोन में कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग, घर-घर का सर्विलांस होगा। राज्यों की तरफ से कंटेनमेंट जोन के बाहर बफर जोन तय किए जा सकते हैं, जहां नए मामले आने की अधिक संभावना हो। इन बफर जोन में जिला प्रशासन अपने विवेकानुसार पाबंदियां लगा सकता है।

राज्य सरकारों के पास अधिक ताकत

अब राज्य सरकारों को अधिक ताकत दी गई है। राज्य सरकारें ही तय करेंगी कि कैसे राज्यों में बसें और मेट्रो सेवाएं शुरू होंगी। केंद्र सरकार ने तो प्रतिबंध हटा लिया है, लेकिन राज्य सरकार अपने स्तर पर पाबंदियां लगा सकती हैं।

पूरे देश में सीमित संख्या में गतिविधियां प्रतिबंधित रहेंगी. ये गतिविधियां हैं: अंतरराष्ट्रीय उड़ानें, मेट्रो रेल का संचालन, सिनेमा हॉल, जिम, स्विमिंग पूल, थिएटर, बार और ऑडिटोरियम, असेंबली हॉल.

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