- होम
- राज्य+
- उत्तर प्रदेश
- अम्बेडकर नगर
- अमेठी
- अमरोहा
- औरैया
- बागपत
- बलरामपुर
- बस्ती
- चन्दौली
- गोंडा
- जालौन
- कन्नौज
- ललितपुर
- महराजगंज
- मऊ
- मिर्जापुर
- सन्त कबीर नगर
- शामली
- सिद्धार्थनगर
- सोनभद्र
- उन्नाव
- आगरा
- अलीगढ़
- आजमगढ़
- बांदा
- बहराइच
- बलिया
- बाराबंकी
- बरेली
- भदोही
- बिजनौर
- बदायूं
- बुलंदशहर
- चित्रकूट
- देवरिया
- एटा
- इटावा
- अयोध्या
- फर्रुखाबाद
- फतेहपुर
- फिरोजाबाद
- गाजियाबाद
- गाजीपुर
- गोरखपुर
- हमीरपुर
- हापुड़
- हरदोई
- हाथरस
- जौनपुर
- झांसी
- कानपुर
- कासगंज
- कौशाम्बी
- कुशीनगर
- लखीमपुर खीरी
- लखनऊ
- महोबा
- मैनपुरी
- मथुरा
- मेरठ
- मिर्जापुर
- मुरादाबाद
- मुज्जफरनगर
- नोएडा
- पीलीभीत
- प्रतापगढ़
- प्रयागराज
- रायबरेली
- रामपुर
- सहारनपुर
- संभल
- शाहजहांपुर
- श्रावस्ती
- सीतापुर
- सुल्तानपुर
- वाराणसी
- दिल्ली
- बिहार
- उत्तराखण्ड
- पंजाब
- राजस्थान
- हरियाणा
- मध्यप्रदेश
- झारखंड
- गुजरात
- जम्मू कश्मीर
- मणिपुर
- हिमाचल प्रदेश
- तमिलनाडु
- आंध्र प्रदेश
- तेलंगाना
- उडीसा
- अरुणाचल प्रदेश
- छत्तीसगढ़
- चेन्नई
- गोवा
- कर्नाटक
- महाराष्ट्र
- पश्चिम बंगाल
- उत्तर प्रदेश
- राष्ट्रीय+
- आर्थिक+
- मनोरंजन+
- खेलकूद
- स्वास्थ्य
- राजनीति
- नौकरी
- शिक्षा
21 जून को आपकी परछाई भी छोड़ देगी आपका साथ, यह है कारण
सूर्य ग्रहण एक ऐसी खगोलीय घटना है जो हर किसी को प्रभावित करती है. 21 जून को लगने वाला सूर्य ग्रहण बेहद शक्तिशाली है. इस दिन सूर्य ग्रहण के अतिरिक्त कई घटनाएं घटित हो रही है. इस दिन साल का सबसे बड़ा दिन भी है. यानि इस दिन, रात छोटी और दिन बड़ा होगा. पंचांग के अनुसार इस दिन सूर्योदय प्रात: 5 बजकर 24 मिनट पर होगा वहीं शाम 7 बजकर 22 मिनट पर सूर्य अस्त होगा. इस प्रकार से 21 जून, 2020 रविवार साल का सबसे बड़ा दिन होगा.
इस दिन एक समय ऐसा भी आएगा जब आपकी परछाई कुछ समय के लिए आपका साथ छोड़ देगी. दोपहर में जब आप धूप में खड़े होंगे तो कहीं पर भी आपकी परछाई नज़र नहीं आएगी.
इसलिए नजर नहीं आएगी परछाई
21 जून की दोपहर में एक समय ऐसा भी आएगा जब सूर्य कर्क रेखा के ठीक ऊपर आ जाएगा. इसलिए ऐसी स्थिति का निर्माण होगा. 21 जून को दिन की अवधि करीब 13.45 घंटे की होगी, जबकि रात 10.35 घंटे की रहेगी. इसे समर सोलस्टाइस या ग्रीष्मकालीन संक्रात भी कहा जाता है.
ये है असली वजह
पृथ्वी सूर्य के चक्कर लगाती है. इसलिए मार्च और सितंबर के बीच उत्तरी गोलार्ध सूर्य के संपर्क में ज्यादा रहता है. उत्तरी गोलार्ध पर आमतौर पर 20,21 और 22 जून को सबसे ज्यादा सूर्य की रोशनी पड़ती है. इस दिन सूर्य अपने सबसे ऊंचे प्वाइंट पर पहुंचकर मैक्सिको, उत्तरी अफ्रीका, भारत, अरब देश और दक्षिण चीन से गुजरता है. जिसके चलते दक्षिण गोलार्ध में बड़ा दिन और उत्तरी गोलार्ध में सबसे लंबी रात होती है.
सूर्य ग्रहण और सूतक काल का समय
ग्रहण प्रारम्भ काल: 10:20
परमग्रास: 12:02
ग्रहण समाप्ति काल: 13:49
खण्डग्रास की अवधि: 03 घण्टे 28 मिनट्स 36 सेकण्ड्स
सूतक प्रारम्भ: 21:52, जून 20
सूतक समाप्त: 13:49