धर्म-कर्म

शक्ति की देवी मां दुर्गा की आराधना करने से मिलेगी शांति..

Arun Mishra
25 Jun 2021 2:05 AM GMT
शक्ति की देवी मां दुर्गा की आराधना करने से मिलेगी शांति..
x
वेदों में देवी दुर्गा को हिमालय की पुत्री बताया गया है वहीं पुराणों में उन्हें आदिशक्ति कहा गया है।

हिन्दू धर्म में सप्ताह के अलग-अलग दिनों में अलग भगवान की पूजा की मान्यता है। शुक्रवार को शक्ति की देवी दुर्गा की आराधना का दिन माना जाता है। मां दुर्गा को शेर पर सवार एक निर्भीक स्त्री के रूप में दिखाया गया है। देवी दुर्गा के आठ हाथ होने की वजह से इन्हें अष्टभुजा के नाम से भी जाना जाता है और इनके सभी हाथों में कोई न कोई अस्त्र या शस्त्र मौजूद है। देवी दुर्गा को शांति समृद्धि और धर्म की हानि से बचाने वाली देवी के तौर पर भी पूजा जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार देवी दुर्गा को भगवान शिव की पत्नी कहा गया है और जिस भी ज्योतिर्लिंगों में देवी की उपस्थिति होती है उसे सिद्धपीठ कहा जाता है।

वेदों में देवी दुर्गा को हिमालय की पुत्री बताया गया है वहीं पुराणों में उन्हें आदिशक्ति कहा गया है। आदिशक्ति को भगवान शिव की पत्नी के रूप में भी पूजा जाता है। मान्यताओं के अनुसार देवी दुर्गा के भी कई रूप हैं पर उनमें से प्रमुख लक्ष्मी पार्वती और सावित्री हैं। देवी दुर्गा का सबसे ज्यादा प्रचलित और पूजनीय स्वरूप गौरी का है जिन्हें काफी शांत और सौम्य माना जाता है वहीं दूसरी तरफ उनका सबसे रौद्र रूप काली का है जिसमें वह राक्षसी प्रवृत्तियों का नाश करती हुई नजर आती हैं।

हिन्दू धर्म में शक्ति की उपासना करने वाले संप्रदाय देवी दुर्गा को ही संसार की सबसे बड़ी देवी मानते हैं और उनका मानना है कि दुनिया का संचालन उन्हीं के हाथों से होता है। ऐसा माना जाता है कि आदिशक्ति ने ही सावित्री (ब्रह्माजी की पहली पत्नी) लक्ष्मी और पार्वती के रूप में जन्म लिया और ब्रह्मा विष्णु और महेश से उनका विवाह हुआ। अलग-अलग रूपों में होने के बाद भी देवी की पूजा दुर्गा रूप में ही ज्यादा होती है।

Arun Mishra

Arun Mishra

Sub-Editor of Special Coverage News

Next Story