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तेजाब कांड : पूर्व बाहुबली सांसद शहाबुद्दीन को उम्रकैद की सजा
Special News Coverage
11 Dec 2015 1:13 PM IST

पटना : बिहार के सिवान जिले में हत्या और अपहरण के मामले में राष्ट्रीय जनता दल के पूर्व बाहुबली सांसद मोहम्मद शहाबुद्दीन को आजीवन कैद की सजा सुनाई गई है। शहाबुद्दीन को यह सजा स्पेशल कोर्ट की तरफ से सुनाई गई। कोर्ट ने 11 साल बाद यह सजा सुनाई है। इस मामले में तीन अन्य दोषियों को भी उम्रकैद की सजा सुनाई गई है।
क्या है मामला ?
सीवान का यह मामला तेजाब कांड के नाम से जाना जाता है। घटना के पीछे प्रॉपर्टी का विवाद था। 16 अगस्त 2004 को कारोबारी चन्द्रकेश्वर प्रसाद उर्फ चंदा बाबू के दो बेटों गिरीश और सतीश को उनकी दुकान से किडनैप किया गया था। दोनों लड़कों को सीवान के प्रतापपुर गांव ले जाया गया। जहां तेजाब डालकर उनकी हत्या कर दी गई। कोर्ट के सामने मारे गए लड़कों के भाई ने आई विटनेस के तौर पर कहा कि घटना के वक्त शहाबुद्दीन भी मौजूद थे। और उनके कहने पर ही दोनों लड़कों का मर्डर किया गया। इस मामले में पूर्व सांसद के साथ चार और लोगों को भी दोषी ठहराया गया है।
तेजाब से नहलाकर की गई थी हत्या, फैसले के बाद जेल प्रशासन भी कटघरे में
कारोबारी चन्द्रकेश्वर प्रसाद उर्फ चंदा बाबू के दो बेटों गिरीश और सतीश को 16 अगस्त 2004 को किडनैप करने के बाद सीवान के प्रतापपुर में तेजाब से नहलाकर हत्या कर दी गई थी। दो लड़कों की हत्या के मामले में सीवान के पूर्व सांसद शहाबुद्दीन को कोर्ट ने दोषी माना था। सरकारी रिकॉर्ड के हिसाब से 2004 में हुई इस घटना के वक्त शहाबुद्दीन जेल में थे। लेकिन फैसले से साबित हो गया है कि जेल एडमिनिस्ट्रेशन झूठ बोल रहा था।
इन धाराओं में हुई सजा
विशेष लोक अभियोजक जयप्रकाश सिंह ने बताया कि अदालत ने सत्रवाद 158/10 के इस मामले में चार लोगों पूर्व सांसद मो. शहाबुद्दीन, शेख असलम, शेख आरिफ उर्फ सोनू और राजकुमार साह को भारतीय दंड संख्या की धाराओं 302, 364 ए, 201 और 120 (बी) के मामलों में दोषी करार दिया। विशेष लोक अभियोजक ने बताया कि विशेष अदालत ने इस मामले को 'दुर्लभतम' श्रेणी का माना, जिससे दोषियों को इन धाराओं में उम्रकैद की सजा सुनाई गई है।
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