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लखीमपुर खीरी हिंसा : कल कोर्ट में पेश होंगे आशीष मिश्रा
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तिकुनिया हिंसा मामले में सुप्रीम कोर्ट की तरफ से हाईकोर्ट की जमानत रद्द होने के बाद रविवार को केंद्रीय गृह राज्यमंत्री के पुत्र और मुख्य आरोपी आशीष मिश्र ने एक दिन पहले ही सरेंडर कर दिया। नाटकीय घटनाक्रम के तहत चुपचाप सदर कोतवाली की जीप से आशीष मिश्र को जिला जेल ले जाया गया।
यहां बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने आशीष मिश्र को 25 अप्रैल तक सरेंडर करने के आदेश दिए थे। उधर, रविवार को जेल गए आशीष को अब 26 अप्रैल को जिला जज की कोर्ट में पेशी पर लाया जाएगा। मंत्री पुत्र आशीष मिश्र के मुकदमे की सुनवाई जिला जज की कोर्ट में 26 अप्रैल को होनी है। मामले में आरोप तय किये जाने हैं।
आशीष मिश्र ने खुद को निर्दोष बताते हुए आरोपों से उन्मोचित करने की अर्जी दी थी। इस पर अभियोजन को आपत्ति दाखिल करनी है। इसलिए मंगलवार को अभियोजन आशीष मिश्र की डिस्चार्ज अर्जी पर अपनी आपत्ति दाखिल कर सकता है।
तिकुनिया हिंसा में दर्ज कराये गए पहले मुकदमे में एसआईटी ने तीन जनवरी को आरोप पत्र सीजेएम कोर्ट में दाखिल कर दिया था। सीजेएम ने आरोपियों को नकलें देने के बाद दस जनवरी को मुकदमा सेशन कोर्ट कमिट कर दिया था। इसके बाद एसआईटी ने खीरी कांड के दूसरे मुकदमे में 21 जनवरी को सीजेएम कोर्ट में चार्जशीट दाखिल कर दी और सीजेएम ने एक फरवरी को यह मुकदमा भी सेशन कोर्ट कमिट कर दिया।
जिला जज मुकेश मिश्र की कोर्ट में दोनों मुकदमे आने के बाद तीन मार्च से दोनों मुकदमों की सुनवाई एक साथ शुरू हुई। तीन मार्च, सोलह मार्च, तीस मार्च और 12 अप्रैल को दोनों मुकदमों की सुनवाई एक साथ हुई। लेकिन 12 अप्रैल को सुनवाई करते हुए जिला जज मुकेश मिश्रा ने दोनों मुकदमो की सुनवाई अलग अलग करने का निर्णय लिया। अब पहले मुकदमे की सुनवाई 26 अप्रैल को होगी। इसी मुकदमे में आशीष मिश्र आरोपी है।
जिला शासकीय अधिवक्ता फौजदारी अरविंद त्रिपाठी ने बताया कि आशीष मिश्र समेत 14 आरोपियों पर आरोप तय करने के संबंध में सुनवाई होगी जिसमें आरोपियों कोर्ट में रहना आवश्यक है। दोनों मुकदमे एक साथ सुनवाई करने पर सभी आरोपियों को एक साथ कोर्ट में मौजूद रहना होगा।