Top Stories

मथुरा: बरसाना में विश्व प्रसिद्ध लट्ठमार होली आज, क्या है लट्ठामार होली? कैसे मनाते हैं?

मथुरा: बरसाना में विश्व प्रसिद्ध लट्ठमार होली आज, क्या है लट्ठामार होली? कैसे मनाते हैं?
x

मथुरा के बरसाना में शुक्रवार को विश्व प्रसिद्ध लट्ठमार होली खेली जाएगी. होली खेलने के लिए नंदगांव के लड़के दोपहर 2 बजे तक बरसाना पहुंचेगें. जहां बरसाना में नंदगांव के ग्वालों पर बरसाना की गोपियां लठ बरसाएंगी. इस प्राचीन परंपरा को देने के लिए दूर-दूर से लोग मथुरा पहुंच रहे हैं।

होली का यह पर्व प्रेम के प्रतीक के रूप में मनाया जाता है. राधारानी के गांव बरसाना और कान्हा के गांव नंदगांव के ग्वाला लठमार होली खेलते हैं. इस मौके पर उनका स्वागत भाग और ठंडाई पिलाकर किया जाता है. यहां लड़के अपने सिर पर पाग (पगड़ी) बांध कर खुद को लट्ठमार होली खेलने के लिए तैयार करेंगे.

लाठियों से होंगे प्रहार

बरसाना की गलियों में शुक्रवार को दोपहर से ही धूम रहेगी, लड़कों के स्वागत में हाथ में लाठियां लिए लड़कियां तैयार मिलेंगी. लट्ठमार होली के दौरान हुरियारिनें (लड़कियां) नंदगांव के हुरियारों (लड़के) पर प्रेमपगी लाठियां बरसाएंगी. इसके बाद हुरियारे बड़ी कुशलता और बुद्धि से खुद को बचाते हुए लाठी के प्रहारों को अपनी ढालों पर झेलेंगे. बता दें, इस मनमोहक दृश्य को देखने के लिए हजारों की संख्या में लोग यहां पहुंचते हैं.

क्या है लट्ठामार होली? कैसे मनाते हैं?

बरसाना से होली का निमंत्रण पाने के बाद नंदगांव के हुरयारे अगले दिन फाल्गुन शुक्ल नवमी को प्रात:काल से ही लट्ठामार होली की तैयारी करने लगते हैं। रंग, गुलाल और ढाल लेकर वे बरसाना पहुंचने लगते हैं, जहां पर उनके स्वागत में हुरयारियों की टोली खड़ी होती है। नंदगांव के हुरयारे बरसाना की हुरयारियों को छेड़ते हैं और फिर वे उन पर लट्ठ मारती हैं, हुरयारे ढाल से अपनी सुरक्षा करते हैं। लट्ठामार होली प्रेम से परिपूर्ण होता है, जो राधा और कृष्ण के प्रेम का परिचायक है।

अभिषेक श्रीवास्तव

अभिषेक श्रीवास्तव

    Next Story