- होम
- राज्य+
- उत्तर प्रदेश
- अम्बेडकर नगर
- अमेठी
- अमरोहा
- औरैया
- बागपत
- बलरामपुर
- बस्ती
- चन्दौली
- गोंडा
- जालौन
- कन्नौज
- ललितपुर
- महराजगंज
- मऊ
- मिर्जापुर
- सन्त कबीर नगर
- शामली
- सिद्धार्थनगर
- सोनभद्र
- उन्नाव
- आगरा
- अलीगढ़
- आजमगढ़
- बांदा
- बहराइच
- बलिया
- बाराबंकी
- बरेली
- भदोही
- बिजनौर
- बदायूं
- बुलंदशहर
- चित्रकूट
- देवरिया
- एटा
- इटावा
- अयोध्या
- फर्रुखाबाद
- फतेहपुर
- फिरोजाबाद
- गाजियाबाद
- गाजीपुर
- गोरखपुर
- हमीरपुर
- हापुड़
- हरदोई
- हाथरस
- जौनपुर
- झांसी
- कानपुर
- कासगंज
- कौशाम्बी
- कुशीनगर
- लखीमपुर खीरी
- लखनऊ
- महोबा
- मैनपुरी
- मथुरा
- मेरठ
- मिर्जापुर
- मुरादाबाद
- मुज्जफरनगर
- नोएडा
- पीलीभीत
- प्रतापगढ़
- प्रयागराज
- रायबरेली
- रामपुर
- सहारनपुर
- संभल
- शाहजहांपुर
- श्रावस्ती
- सीतापुर
- सुल्तानपुर
- वाराणसी
- दिल्ली
- बिहार
- उत्तराखण्ड
- पंजाब
- राजस्थान
- हरियाणा
- मध्यप्रदेश
- झारखंड
- गुजरात
- जम्मू कश्मीर
- मणिपुर
- हिमाचल प्रदेश
- तमिलनाडु
- आंध्र प्रदेश
- तेलंगाना
- उडीसा
- अरुणाचल प्रदेश
- छत्तीसगढ़
- चेन्नई
- गोवा
- कर्नाटक
- महाराष्ट्र
- पश्चिम बंगाल
- उत्तर प्रदेश
- राष्ट्रीय+
- आर्थिक+
- मनोरंजन+
- खेलकूद
- स्वास्थ्य
- राजनीति
- नौकरी
- शिक्षा
- Home
- /
- Top Stories
- /
- इस नवरात्रि में बन रहे...
इस नवरात्रि में बन रहे विशेष योग ,जानिए कैसे करें, नवरात्रि मे मां को प्रसन्न
शारदीय नवरात्रि 26 सितंबर से शुरू हो रहे है। अबकी का नवरात्रि कई विशिष्ट योगों से युक्त है। प्रतिपदा पर ही पांच योग बनेंगे। सोमवार का दिन, ग्रहों और नक्षत्रों के संयोग से प्रतिपदा पर बनने वाले योगों में शुक्ल योग, सर्वार्थसिद्धि योग, शुक्र बुधादित्य योग, ब्रह्म योग और अमृतसिद्धि योग हैं।
शारदीय नवरात्रि के शेष आठ दिनों में तीन बार रवि योग भी बनेगा। शारदीय नवरात्रि प्रतिपदा पर सूर्योदय से सुबह 8 06 बजे तक शुक्ल योग रहेगा। इसके बाद ब्रह्म योग शुरू होगा। शास्त्रत्तें के अनुसार, शुक्ल व ब्रह्म योग में किए कार्य शुभ फलदायक होते हैं। नवरात्रि में चतुर्थी 29 सितंबर, पंचमी 30 सितंबर और सप्तमी 2 अक्तूबर को भी सर्वार्थसिद्धि योग बनेंगे। चतुर्थी को शुरू हुआ सर्वार्थसिद्धि योग 26 घंटों तक रहेगा।
ऐसा महासंयोग कभी-कभी ही होता है। चतुर्थी, षष्ठी पहली अक्तूबर और अष्टमी 3 अक्तूबर को रवि योग बनेगा। रवि योग ज्योतिष में संकटों को दूर कर शुभता और सफलता प्रदान करने वाला गया है। सूर्य, शुक्र, बुध की युति से बनने वाला शुक्र बुधादित्य योग प्रतिप्रदा के दूसरे प्रहर तक मिलेगा। कन्या राशि में बनने वाला यह योग शुक्र के नीचत्व को भंग करने में विशेष सहायक होगा। ऐसे विशिष्ट योग संयोग में शक्ति उपासना से शिक्षा व धन धान्य की प्राप्ति होती है।