जौनपुर

सादगी और मानवता की मिसाल थे माता प्रसाद : ललई यादव

Shiv Kumar Mishra
20 Jan 2021 1:51 PM GMT
सादगी और मानवता की मिसाल थे माता प्रसाद : ललई यादव
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जौनपुर। अरुणाचल प्रदेश के पूर्व राज्यपाल एवं उत्तर प्रदेश के पूर्व राजस्व मंत्री माता प्रसाद का मंगलवार देर रात लखनऊ स्थित संजय गांधी स्नानकोत्तर आर्युविज्ञान संस्थान (एसजीपीजीआई) निधन हो गया। राजनीति में सादगी के उदाहरण माता प्रसाद के निधन की खबर मिलते ही जौनपुर जिले में शोक छा गया।

समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता शाहगंज विधायक शैलेंद्र यादव ललई ने उनके निधन के समाचार सुनते ही लखनऊ के भैंसाकुंड वैकुंठधाम ज़ाकर उनके अंतिम संस्कार में शिरकत कर श्रद्धांजलि अर्पित किया। उन्होंने कहा कि देश के महान शख्सियत माता प्रसाद सार्वजनिक जीवन में ईमानदारी और शुचिता के बेजोड़ उदाहरण रहे। सादगीपूर्ण जीवनशैली के लिए उनका सम्मान हम सभी करते है। वह सादगी एवं ईमानदारी की प्रतिमूर्ति थे।

जौनपुर जिले के मछलीशहर तहसील क्षेत्र के कजियाना मोहल्ले में 11 अक्तूबर 1924 को जगरूप राम के पुत्र के रूप में जन्मे माता प्रसाद बहुमुखी प्रतिभा के धनी थे। वर्ष 1942-43 में मछलीशहर से हिंदी-उर्दू में मिडिल परीक्षा पास की।

गोरखपुर के नॉर्मल स्कूल से ट्रेनिंग के बाद जिले के मड़ियाहूं ब्लॉक क्षेत्र के प्राइमरी स्कूल बेलवा में सहायक अध्यापक के रूप में कार्य करते हुए उन्होंने गोविंद, विशारद के अलावा हिंदी साहित्य की परीक्षा पास की। अध्यापन काल में ही ये लोकगीत लिखना और गाना इनका शौक हो गया था। इनकी कार्य कुशलता को देखते हुए इन्हें 1955 में जिला कांग्रेस कमेटी का सचिव बनाया गया।

राजनीति में स्वर्गीय बाबू जगजीवन राम को अपना आदर्श मानने वाले माता प्रसाद जिले के शाहगंज (सुरक्षित) विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस के टिकट पर 1957 से 1974 तक लगातार पांच बार विधायक रहे। 1980 से 1992 तक 12 वर्ष तक उत्तर प्रदेश विधान परिषद के सदस्य रहे। प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री नारायण दत्त तिवारी ने इन्हें अपने मंत्रिमंडल में 1988 से 89 तक राजस्व मंत्री बनाया था।

देश की नरसिंह राव सरकार ने 21 अक्तूबर 1993 को इन्हें अरुणाचल प्रदेश का राज्यपाल बनाया और 31 मई 1999 तक ये राज्यपाल रहे। राज्यपाल पद पर रहते हुए श्री प्रसाद को तत्कालीन गृह मंत्री लालकृष्ण आडवाणी ने पद छोड़ने को कहा तो उन्होंने दरकिनार कर दिया था।

सादगी की प्रतिमूर्ति रहे माता प्रसाद ने राजनेताओं को आईना दिखाया है आज के दौर में जहां एक बार विधायक या मंत्री बनते ही नेतागण गाड़ी बंगले के साथ लाखों-करोड़ों में खेलने लगते हैं। वही पांच बार विधायक, दो बार एमएलसी, नारायण दत्त तिवारी के मुख्यमंत्री काल में उत्तरप्रदेश के राजस्व मंत्री और राज्यपाल रहे माता प्रसाद पैदल या रिक्शे पर बैठे बाजार से सामान खरीदते देखे जाते थे। पैदल चलना उनको बहुत पसंद था।

Shiv Kumar Mishra

Shiv Kumar Mishra

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