लखीमपुर खीरी

उत्तराखंड हादसा: बेटे की राह तकते-तकते पथराई मां की आंखें हुईं बंद

Shiv Kumar Mishra
21 Feb 2021 6:02 PM GMT
उत्तराखंड हादसा: बेटे की राह तकते-तकते पथराई मां की आंखें हुईं बंद
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लखीमपुर खीरी: बीती 7 फरवरी को उत्तराखंड के चमोली में ग्लेशियर फटने के बाद तबाही मच गई थी. जलप्रलय की चपेट में आकर सैकड़ों लोग लापता हो गए थे. इन लापता लोगों में लखीमपुर खीरी जिले का रहने वाला 20 वर्षीय विनोद भी है. अभी तक विनोद का पता नहीं चल सका है. विनोद की जिंदगी की आस में राह तकते-तकते शनिवार रात को उसकी मां छोटी गौतम ने दम तोड़ दिया.

कहते हैं कि 'दुनिया में कितना गम है, मेरा गम कितना कम है', निघासन तहसील के भैरमपुर गांव की रहने वाली छोटी गौतम को जब पता चला कि उनका बेटा विनोद उत्तराखंड हादसे में लापता हो गया है तब से उनके मन में बेचैनियों का सागर उबाल मार रहा था. 7 फरवरी से बेटे विनोद की जिंदगी की आस लिए छोटी गौतम दिन-रात भगवान से अपने बेटे की सलामती की प्रार्थना करती रहती थीं. नाते-रिश्तेदार भी छोटी को दिलासा दिलाते रहते थे कि विनोद सही सलामत है. हर कोई छोटी को समझाता रहता था कि विनोद आ जाएगा घबराओ मत, लेकिन मां तो मां होती है. उसके गम को बस वही समझ सकती है. शनिवार रात को इसी गम में छोटी की हार्ट अटैक से मौत हो गई.

DNA सैम्पलिंग से टूट गई जिंदगी की आस की डोर

बताते हैं कि शनिवार को जिला प्रशासन ने उत्तराखंड हादसे में लापता और मृत लोगों के परिजनों की डीएनए सैंपलिंग कराई थी. डीएनए सैंपलिंग के बाद छोटी गौतम की हालत अचानक खराब हो गई. दरअसल, छोटी ने कहीं से सुन लिया कि डीएनए सैंपलिंग इसलिए हो रही है ताकि डीएनए से शवों की पहचान की जा सके. बस यही एक बात थी, जिसने छोटी के जीने की चाह को खत्म कर दिया. डीएनए सैम्पलिंग के बाद उनकी हालत बिगड़ गई. शनिवार रात दिल का दौरा पड़ने से उनका निधन हो गया.

बड़ा बेटा गया है भाई को खोजने उत्तराखण्ड

निघासन तहसील के भैरमपुर गांव का रहने वाला 20 वर्षीय विनोद मजदूरी करने उत्तराखण्ड के तपोवन गया था, जहां ग्लेशियर फटने से हुए हादसे में विनोद लापता हो गया. विनोद का बड़ा भाई सुरेश भाई के जिंदा होने की आस लगाए तपोवन गया हुआ है. तपोवन में लापता लोगों के टनल में फंसे होने की आस में खुदाई चल रही है, लेकिन अभी तक विनोद का कोई पता नहीं चल सका है. इधर मां बेटे की जिंदगी की आस की बुझती लौ देख दम तोड़ बैठी है. परिवार पर चौतरफा दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है.

माजिदा को अभी तक नहीं दी गई बेटे के इंतकाल की खबर

उत्तराखण्ड हादसे में रविवार सुबह जिस 22 साल के जलाल पुत्र स्व. इश्तियाक की डेड बॉडी खुदाई में मिली है, उसकी मां माजिदा को परिवारीजनों ने बेटे के इंतकाल की खबर नहीं दी है. बेटे की जिंदगी की आस लगाए मां को लोग दिलासा दिला रहे हैं कि जलाल ठीक है, आ जाएगा. इसलिए कि मां की हालत न बिगड़ जाए. पांच भाइयों में सबसे छोटे बेटे जलाल को मां माजिदा बहुत प्यार करती हैं, जिससे परिवार वाले मां को सच बताने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहे हैं. इस समय माजिदा की हालत भी खराब है. सात फरवरी से रो-रोकर उनका बुरा हाल है. वह बार-बार पूंछती हैं कि जलाल का कोई पता चला की नहीं.

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