लखनऊ

यूपी पुलिस ने एक लाख के इनामी बदमाश राकेश पाण्डेय को मार गिराया

Shiv Kumar Mishra
9 Aug 2020 9:37 AM IST
यूपी पुलिस ने एक लाख के इनामी बदमाश राकेश पाण्डेय को मार गिराया
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यूपी एसटीएफ ने मुख्तार अंसारी (Mukhtar Ansari) गैंग से जुड़े एक लाख के इनामी बदमाश राकेश उर्फ हनुमान पांडेय का लखनऊ में एनकाउंटर कर दिया। वह 2005 में गाजीपुर में विधायक कृष्णानंद राय (Krishnanand Rai) हत्याकांड में भी शामिल था।

लखनऊ: उत्तर प्रदेश स्पेशल टास्क फोर्स (STF) ने BJP नेता कृष्णानंद राय हत्याकांड के आरोपी और 1 लाख रुपये के इनामी बदमाश राकेश पांडे उर्फ हनुमान पांडे को मुठभेड़ में मार गिराया है. राकेश पांडे बाहुबली नेता मुख्तार अंसारी (Mukhtar Ansari) और माफिया डॉन रहे मुन्ना बजरंगी का करीबी था. राकेश पांडे और यूपी एसटीएफ की लखनऊ के सरोजनी नगर में मुठभेड़ हुई. राकेश पांडे मऊ के कोपागंज का रहने वाला था, वो कई सनसनीखेज वारदातों में शामिल रहा था.

सुधीर सिंह कुमार SSP STF लखनऊ ने कहा, "STF बनारस टीम ने 5 बदमाशों के साथ मुठभेड़ में राकेश पांडे मुख्तार अंसारी के शार्प शूटर को गोली मारी जिसे अस्पताल में मृत घोषित किया गया। इस पर 25,000 के 2 इनाम थे, जांच जारी।"दरअसल मुन्ना बजरंगी की जेल में हत्या के बाद राकेश पांडे मुख्तार अंसारी के गैंग का बड़ा शूटर बन गया था. राकेश पांडे बाहुबली नेता मुख्तार अंसारी के गैंग डी-5 का सबसे सक्रिय सदस्य था. वो मुख्तार अंसारी के साथ मऊ में ठेकेदार अजय प्रकाश सिंह समेत 2 लोगों की हत्या के मामले में भी आरोपी था.

राकेश पांडे BJP नेता कृष्णानंद राय हत्याकांड में भी आरोपी था. बता दें कि 2005 में बीजेपी विधायक कृष्णानंद राय की गोलियों से भूनकर हत्या कर दी गई थी. कृष्णानंद राय 2002 में गाजीपुर की मोहम्मदाबाद विधानसभा से विधायक बने थे. वो 29 नवंबर, 2005 को करीमुद्दीनपुर इलाके के सोनाड़ी गांव में एक क्रिकेट मैच के उद्धाटन में पहुंचे थे. बताया जाता है कि उस दिन बारिश हो रही थी और वो अपनी बुलेट प्रूफ कार छोड़ अपने साथियों के साथ सामान्य गाड़ी से चले गए थे. मैच का उद्घाटन करने के बाद शाम करीब 4 बजे वो अपने गांव गोडउर लौट रहे थे कि तभी बसनियां चट्टी के पास उनके काफिले को कुछ लोगों ने घेर लिया और AK-47 से फायरिंग कर दी. इसमें कृष्णानंद राय समेत 7 लोगों की मौके पर ही मौत हो गई थी.

पुलिस ने बताया था कि कृष्णानंद राय और उनके साथियों पर करीब 400 राउंड फायरिंग हुई थी, जिसमें 67 गोलियां मरने वाले 7 लोगों के शरीर से मिली थीं. मरने वालों में कृष्णानंद राय के अलावा मोहम्मदाबाद के पूर्व ब्लॉक प्रमुख श्यामाशंकर राय, भांवरकोल ब्लॉक के मंडल अध्यक्ष रमेश राय, अखिलेश राय, शेषनाथ पटेल, मुन्ना यादव और कृष्णानंद राय के बॉडीगार्ड निर्भय नारायण उपाध्याय थे.

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