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क्यों हुए एसपी मणिलाल पाटीदार सस्पेंड, पूरा विस्तृत खुलासा
लखनऊ: भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाते हुए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को एक और बड़ी कार्रवाई करते हुए महोबा के पुलिस अधीक्षक (एसपी) मणि लाल पाटीदार को निलंबित कर दिया है। उन्हें पुलिस महानिदेशक कार्यालय से संबद्ध किया गया है। गृह विभाग की जांच में 2014 बैच के आईपीएस मणि लाल पाटीदार के खिलाफ लगे आरोप सही पाए गए। जांच रिपोर्ट में लेन-देन को लेकर चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। यहां तक की उन पर एफआईआर तक की नौबत आ गई है।
सोशल मीडिया पर वायरल किया था वीडियो व्यापारी ने
आईपीएस मणि लाल पाटीदार पर महोबा के क्रेशर व्यापारी इंद्रकांत त्रिपाठी ने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा था कि एसपी साहब कहते हैं अगर मुझे 6 लाख महीना नहीं दोगे तो अंजाम अच्छा ना होगा। इंद्रकांत त्रिपाठी ने सोमवार को अपना एक वीडियो जारी किया था। इसमें उन्होंने महोबा पुलिस अधीक्षक से जान को खतरा बताते हुए हुए प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और गृह सचिव समेत सभी बड़े आला अधिकारियों को अवगत कराया था। वीडियो में इंद्रकांत त्रिपाठी बेहद हताश व डरे-सहमे नजर आ रहे थे
वीडियो जारी करने के 24 घंटे के अंदर हुआ था व्यापारी पर हमला
वीडियो जारी करने के 24 घंटे नहीं बीत पाए थे कि अचानक खबर आई कि क्रेशर व्यापारी इंद्र कांत त्रिपाठी संदिग्ध अवस्था में पाए गए थे। इंद्र कांत त्रिपाठी ने पुलिस अधीक्षक की प्रतिमाह 6 लाख रुपयों की मांग को व्यापार बंद होने के चलते पूरी न कर पाने में असमर्थ बताते हुए पुलिस अधीक्षक से खतरा जताया था। झूठे मुकदमे में फंसाने या जान से मरवा देने का डर जताते हुए व्यापारी ने अपने साथ होने वाली किसी दुर्घटना के लिए पुलिस अधीक्षक महोबा व कबरई निवासी एक विस्फोटक कारोबारी को जिम्मेदार बताया था।
एसपी ने कहा था- झूठ बोल रहा है व्यापारी
24 घंटे पहले व्यापारी ने एसपी पर रिश्वत मांगने का आरोप लगाकर वीडियो सोशल मीडिया में वायरल कर दिया था। व्यापारी ने वीडियो व पत्र सीएम और डीजीपी को भी भेजा था। वायरल वीडियो में व्यापारी ने कबरई पत्थरमंडी ठप होने के चलते पैसे न दे पाने की असमर्थता जताई थी। साथ ही एसओ पर कई गंभीर आरोप लगाए थे। वायरल वीडियो में व्यापारी ने हत्या की आशंका जताई थी। इस मामले में एसपी पाटीदार ने प्रेस कांफ्रेंस कर बताया था कि इंद्रकांत जुआ व सट्टे का बड़ा व्यापारी है। ग्राम रिवई में पकड़े गए जुए में इसका नाम आया था । कार्रवाई से बचने को वीडियो वायरल कर अनर्गल आरोप लगाने की बात कही थी।
2 लाख महीने देने की एसपी ने रखी डिमांड
मणि लाल पाटीदार पर परिवहन में लगी गाड़ियों के चलाए जाने हेतु अवैध रूप से पैसे मांगने और वाहन मालिक के उत्पीड़न का आरोप लगा है। दरअसल मणिलाल पाटीदार ने गिट्टी परिवहन में लगी गाड़ियों को चलाने के बदले रुपयों की मांग की थी, जिसे पूरा न किए जाने पर वाहन मालिक अमित तिवारी का पुलिस के माध्यम से उत्पीड़न किया गया। सबसे पहले वाहन मालिक अमित तिवारी को कांस्टेबल राज कुमार कश्यप के कहने पर एसपी पाटीदार से मिलने बुलवाया गया, एसपी के घर पर मिलने गए वाहन मालिक अमित तिवारी से एसपी पाटीदार ने उनकी गाड़ियों को चलाने के एवज में 2 लाख रुपए महीने देने की डिमांड की।
सामने कॉल डिटेल की सच्चाई
जांच में पता चला कि वाहन मालिक अमित तिवारी और कांस्टेबल राज कुमार कश्यप के बीच कुल 37 बार बात हुई। कांस्टेबल राज कुमार कश्यप का अमित तिवारी से कोई भी संबंध नहीं है। जांच में सामने आया कि बुंदेलखंड एक्सप्रेस-वे पर गिट्टी परिवहन में लगी अमित तिवारी की गाड़ियों को चलाए जाने के लिए उनसे पैसों की मांग की गई।