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नोएडा एसएसपी वैभव कृष्ण ने खोला होमगार्ड ड्यूटी में घोटाला, डीजीपी के निर्देश के बाद कराई FIR
नोएडा. उत्तर प्रदेश के जनपद गौतमबुद्ध नगर में होमगार्डों की कथित तौर पर फर्जी हाजिरी लगाकर सरकार को करोड़ों रुपये की चपत लगाने का मामला सामने आया है. शासन स्तर की एक समिति ने मामले में जांच शुरू कर दी है. उधर मामले में पुलिस महानिदेशक ओपी सिंह ने एसएसपी नोएडा को एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दे दिए हैं. एसएसपी के आदेश से घोटालेबाजों पर एफआईआर दर्ज की जा रही है.
4 सदस्यीय टीम कर रही है जांच
बता दें कि मामले में एसएसपी ने अपनी खुद की जांच के बाद होमगार्ड विभाग के अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा लिखने की संस्तुति की थी, लेकिन शासन ने अपने स्तर से भी जांच कराने का निर्णय लिया. अब इस मामले की जांच चार सदस्यीय टीम कर रही है.
एसएसपी वैभव कृष्ण ने बताया कि उन्हें सूचना मिली थी कि होमगार्डों की ड्यूटी में बड़ा घोटाला हुआ है. कुछ होमगार्ड ड्यूटी पर नहीं आते, लेकिन विभाग के अधिकारी थानों में उनकी उपस्थिति दिखाकर उनका वेतन निकाल लेते हैं. यह पूरा खेल होमगार्ड विभाग के एक संगठित गिरोह के माध्यम से होता है. पुलिस कप्तान ने बताया कि जब उन्होंने अपने स्तर से जांच कराई तो पता चला कि होमगार्ड विभाग के अधिकारियों ने जिले के थाना प्रभारियों के फर्जी हस्ताक्षर और फर्जी मुहर के सहारे इस घोटाले को अंजाम दिया है.
SSP Noida: Records of 7 police station limits for May-June were checked. It was found that 50% of the salary drawn for the 2 months was done on basis of fake records. Report was sent to state govt. A 3-member probe committee has been formed. Action will be taken based on findings https://t.co/D7uwP2IlSI
— ANI UP (@ANINewsUP) November 13, 2019
जांच के लिए डीजी होमगार्ड ने बनाई समिति
एसएसपी ने बताया कि इस मामले में उन्होंने शासन को पत्र लिखा और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की संस्तुति की. उनके द्वारा सरकार को पत्र लिखे जाने के बाद होमगार्ड महानिदेशक ने इस मामले की जांच के लिए एक समिति बनाई. समिति में एसएसओ, लखनऊ मुख्यालय सुनील कुमार, मिर्जापुर के जिला कमांडेंट शैलेंद्र प्रताप सिंह, बागपत की मंडल कमांडेंट नीता भारती और मेरठ के मंडल कमांडेंट डीडी मौर्या शामिल हैं. इस समिति ने जनपद गौतमबुद्ध नगर में जांच की है।
थानों से मिली फर्जी मुहर और पत्रावलियां
उन्होंने बताया कि जांच टीम के सदस्यों ने जिले के एक-एक थाने में जाकर 12 से 13 घंटे तक पत्रावालियों की जांच की जिसमें होमगार्ड की सबसे ज्यादा फर्जी उपस्थिति नॉलेज पार्क थानांतर्गत पाई गई हैं. जांच अधिकारियों ने कई थानों की फर्जी मुहर के साथ-साथ पत्रावलियों को भी जब्त किया है. पुलिस अधिकारी ने बताया कि फर्जी उपस्थिति के आधार पर होमगार्ड जवानों के खाते में पैसा चला जाता था. घोटाले में शामिल लोग बाद में जवानों से अपना हिस्सा ले लेते थे.
दो महीने में करीब साढ़े 7 लाख का घोटाला आया सामने
एसएसपी ने बताया करीब 5 थानों के सैंपल लिए गए थे. इसमें 2 महीने में करीब साढे़ सात लाख का घोटाला सामने आया है. अगर वहीं पूरे प्रदेश स्तर में इस तरह की गड़बड़ी की जा रही है तो करोड़ों रुपए का घोटाला सामने आएगा. जिसमें जांच के बाद ही कई बड़े चेहरे भी बेनकाब हो सकते हैं.
बता दें कि जनवरी 2019 में नियुक्त होने के बाद जिस तरह एसएसपी नोएडा ने लगातार कई भ्रष्टाचार के मामले खंगाल खंगाल कर निकाले उससे पुलिस विभाग में हडकम्प मच गया. लेकिन जिस तरह से नोएडा एसएसपी को जनता और प्रदेश की सरकार से वाहवाही मिली वो वाकई काबिले तारीफ है. नोएडा में धीरे धीरे अपराध का ग्राफ गिरता चला गया फिर जाम के झाम से निजात मिली और अब भ्रष्टाचार के खिलाफ चली मुहिम भी जल्द अच्छे परिणाम लाएगी.