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प्रेम प्रसंग के चलते ही पति ने रची थी, लूट व हत्या के प्रयास की झूठी कहानी
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रामपुर: जिले 22 जुलाई 2020 को थाना अजीमनगर क्षेत्रान्तर्गत स्थित ग्राम बढपुरा शुमाली के रहने वाले एक व्यक्ति ने थाना अजीमनगर पर सूचना दी थी कि उसकी बहन व बहनोई नरेन्द्र पाल पुत्र खुशालीराम निवासी ग्राम सिरसवां हरचन्द थाना भगतपुर जनपद-मुरादाबाद से घर पर आ रहे थे कि जंगल ग्राम बहादुरगंज में तीन अज्ञात व्यक्तियों ने मारपीट करते हुए उनसे नकदी व कीमती आभूषण लूट लिये. इस सम्बंध में थाना अजीमनगर पर केस अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ पंजीकृत हुआ था. उक्त घटना को गम्भीरता से लेते हुए पुलिस द्वारा तत्काल अभियोग पंजीकृत कर जांच में जुट गई.
पुलिस अधीक्षक शगुन गौतम ने जनपद में अपराध व अपराधियों के विरूद्ध चलाये जा रहे अभियान के अन्तर्गत अपर पुलिस अधीक्षक अरूण कुमार सिंह की देखरेख में थाना अजीमनगर पुलिस द्वारा उक्त अभियोग में प्रकाश में आया वादी का बहनोई नरेन्द्र पाल (मजरूबा का पति) को खीजरपुर की पुलिया से गिरफ्तार किया. जिसकी निशानदेही पर वादी की बहन को जान से मारने के लिए प्रयुक्त किया गया हथौडा तथा लूट दिखाने के लिए छिने गये जेवर व पैसे बरामद किये है.
पूंछतांछ में बताया
गिरफ्तार अभियुक्त नरेन्द्र पाल द्वारा पूछताछ में बताया कि कालेज के समय से ही गाॅव की रहने वाली एक लडकी से मेरे प्रेम प्रसंग है. हम दोनों शादी करना चाहते थे, परन्तु मेरे घरवालों एवं रिश्तेदारों ने मेरी शादी ग्राम बढपुरा शुमाली थाना अजीमनगर की रहने वाली एक लडकी से करा दी. मेरे गाॅव की रहने वाली उस लडकी से मैं आज भी प्रेम करता हुॅ. इसलिए मैनें सोचा की मैं अपनी पत्नि को ही रास्ते से हटा देता हुॅ. 22.जुलाई को मैं अपनी पत्नी को दवाई दिलाने के लिए रामपुर अपनी मोटर साइकिल से आया था. रास्ते में से मैनें एक दुकान से हथौड़ा खरीदकर मोटर साईकिल के बैग में रख लिया और रास्ते में मुझे कहीं भी मौका नही मिला.
इसलिए मैं अपनी पत्नी को उसके गाॅव में उनके खेत देखने के बहाने से ले गया और मैनें वहीं मौका पाकर हथौड़े से अपनी पत्नी के सिर पर पीछे से कई वार किये. मुझे पूर्ण विश्वास हो गया कि वह मर चुकी है. मैंने आम के बाग में कुछ दूर जाकर घास में हथोड़ा तथा अपनी पत्नी के जेवर भी वही झाडियों में छिपा दिये. फिर मैने वहीं खड़े होकर अपने ससुर को फोन कर बताया कि हम खेत देखने के लिए आये थे. यहाँ पर तीन बदमाशों ने हमें लूट लिया और मेरी पत्नि को सरिये से बहुत मारा है. उसके बाद मेरी घरवाली के परिवारजन भी वहाॅ पर आ गये और उपचार हेतु अस्पताल ले गये. मैं अपनी गलती मानता हूॅ, मुझे इस बात का बहुत पछतावा है. लेकिन अब क्या कर सकता हूँ.