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ज्ञानवापी एएसआई सर्वे! काशी के कण-कण में महादेव ~ राखी सिंह
वाराणसी के ज्ञानवापी बनाम श्रृंगार गौरी मामले में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग (एएसआई) ने सर्वे किया था. सर्वे की रिपोर्ट सील बंद वाराणसी के जिला जज की अदालत में दाखिल किया गया था. जिसकी प्रतिलिपि दोनों पक्षों को जिला जज के आदेश पर दिया गया है। प्रतिलिपि आने के बाद ज्ञानवापी मस्जिद के अंदर इस बात के ठोस प्रमाण मिले हैं कि वहां पर मंदिर हुआ करता था और उससे संबंधित चीज भी मिली हैं। एएसआई ने 850 पन्ने की रिपोर्ट और फोटो, वीडियोग्राफी पेन ड्राइव में जिला जज की अदालत में दाखिल किया था जिसकी प्रतिलिपि अब दोनों पक्षों को मिली है।
रिपोर्ट सार्वजनिक होने के बाद याचिकर्ता नंबर एक राखी सिंह के अधिवक्ता अनुपम द्विवेदी से स्पेशल कवरेज न्यूज़ ने बातचीत की उन्होंने कहा कि एएसआई का सर्वे होना हमारे केस के लिए एक महत्वपूर्ण मोड़ था और अब जब उसकी रिपोर्ट हमें मिल गई है और मैंने उसे पढ़ा है तो उससे यह पता चलता है कि वहां पर हिंदुओं के मंदिर को तोड़कर मस्जिद बनाई गई है। और यही चीज एएसआई अपने रिपोर्ट में कही है निश्चित रूप से हमारे केस में यह रिपोर्ट एक महत्वपूर्ण योगदान देगा और न्यायालय के अंदर दूध का दूध पानी का पानी हो जाएगा। हम न्यायालय के माध्यम से ही चलने वाले लोग हैं और हम न्यायालय पर पूरा भरोसा रखते हैं।
वही जब हमने इस केस की याचीकर्ता राखी सिंह से बातचीत की तो उन्होंने कहा एएसआई का रिपोर्ट प्रत्यक्ष प्रमाण है कि ज्ञानवापी महादेव का मंदिर था। और काशी के कण-कण में महादेव हैं। एएसआई रिपोर्ट सार्वजनिक होने के बाद मुझे बहुत खुशी है और मुझे न्यायालय पर पूरा भरोसा है न्यायालय में जल्द ही न्याय होगा।