कुमार कृष्णन
मुंगेर। वित्तीय वर्ष 2021-22 में मानसून की शुरूआत अच्छी वर्षा से हुई है। फलस्वरूप इस खरीफ मौसम में फसलों का शत प्रतिशत आच्छादन होने की पूर्ण सम्भावना है। इसके कारण यूरिया सहित अन्य उर्वरकों की माॅग बढ़ सकती है। कृषि निदेशालय के द्वारा उर्वरक संबंधी किसी भी शिकायत पर ''जीरोटोलरेंस नीति'' अपना कर वैधानिक कार्रवाई किये जाने का निर्देश दिया गया है।
जिले में उर्वरकों की कालाबाजारी, जमाखोरी, मुनाफाखोरी, मिलावट आदि पर नियंत्रण, उर्वरक संबंधी शिकायतों के निवारण एवं इस पर त्वरित कार्रवाई हेतु जिला उर्वरक नियंत्रण कोषांग का स्थापना किया गया है। जिला उर्वरक नियंत्रण कोषांग में प्राप्त होने वाली गंभीर शिकायतों की जांच छापेमारी दल से करायी जायेगी। यह जिला उर्वरक नियंत्रण कोषांग प्रातः 10ः00 बजे से अपराह्न 05ः00 बजे तक अगले आदेश तक के लिए कार्यरत रहेगा।
इस कोषांग में पदाधिकारियों एवं कर्मचारियों की नियुक्ति, लौलीना कुमार सहायक निदेशक (8544588342), श्री बिरेन्द्र कुमार लिपिक(8541820606), श्री शशि भूषण मिश्रा, कार्यपालक सहायक(9097468050) की गयी है।
जिला में 166 उर्वरक दुकान है। प्रत्येक प्रखंड में पर्याप्त मात्रा में उर्वरक उपलब्ध है। यदि कोई उर्वरक दुकान विक्रेता उचित मूल्य से अधिक लेता है या उर्वरक लेने में परेशानी होती है तो इसकी शिकायत अविलंब जिलास्तरीय गठित उड़नदस्ता दल (06344-222707) को सूचित करे। अविलंब कार्रवाई की जायेगी।