बैकफुट पर BJP, कहा- गोडसे को देशभक्त बताने पर सार्वजनिक रूप से माफी मांगें साध्वी प्रज्ञा

साध्वी प्रज्ञा ने कहा था कि नाथूराम गोडसे देशभक्त थे, देशभक्त हैं और देशभक्त ही रहेंगे.

Update: 2019-05-16 13:42 GMT

भोपाल से बीजेपी की उम्मीदवार और मालेगांव ब्लास्ट मामले में बेल पर बाहर साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर ने नाथूराम गोडसे को देशभक्त करार दिया है. इसको लेकर वो पार्टी के अंदर ही घिर गई हैं. अभिनेता कमल हासन के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए साध्वी प्रज्ञा ने कहा कि नाथूराम गोडसे देशभक्त थे, देशभक्त हैं और देशभक्त ही रहेंगे. उनको आतंकवादी कहने वाले लोगों को अपने गिरेबां में झांककर देखना चाहिए. ऐसे लोगों को जनता चुनाव में मुंहतोड़ जवाब देगी.

दरअसल, कमल हासन ने नाथूराम गोडसे को पहला हिंदू आतंकवादी करार दिया था. उनके इस बयान को लेकर काफी बवाल हुआ था. अब साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर के ताजे विवादित बयान ने एक बार फिर से विपक्ष को हमला करने का हथियार दे दिया है. इससे पहले भी नाथूराम गोडसे को लेकर विवाद हो चुका है.



नाथूराम गोडसे ने महात्मा गांधी की गोली मारकर हत्या कर दी थी. इसके बाद गोडसे को फांसी की सजा दे दी गई थी. वहीं, बीजेपी ने साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर के बयान की कड़ी निंदा की है. बीजेपी प्रवक्ता जीवीएल नरसिम्हा राव ने कहा, 'साध्वी प्रज्ञा के बयान से बीजेपी सहमत नहीं है. हम इसकी कड़ी निंदा करते हैं. इस मामले में पार्टी साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर से स्पष्टीकरण मांगेगी. उनको अपने इस बयान के लिए सार्वजनिक रूप से माफी मांगनी चाहिए.'


आपको बता दें कि साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर पर भी मालेगांव बम धमाके में शामिल होने का आरोप है. उनको भारतीय जनता पार्टी ने कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह के खिलाफ भोपाल लोकसभा सीट से चुनाव मैदान में उतारा है.

भोपाल लोकसभा सीट पर बीजेपी प्रत्याशी साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर और दिग्विजय सिंह के बीच सीधा मुकाबला है. इस सीट पर कुल 30 प्रत्याशी चुनाव लड़ रहे हैं. यहां पर 12 मई को 6वें चरण में वोटिंग हुई थी. अब 23 मई को वोटों की गिनती होगी और फिर चुनाव नतीजे जारी किए जाएंगे.

पहले भी दे चुकी हैं विवादित बयान

साध्वी प्रज्ञा सिंह इससे पहले भी अपने बयानों को लेकर विवादों में घिर चुकी हैं. इससे पहले उन्होंने मुंबई हमले में शहीद हुए हेमंत करकरे को लेकर विवादित बयान दिया था. उन्होंने कहा था, ' हेमंत करकरे ने मुझे गलत तरीके से फंसाया था. मैंने उनको बता दिया था कि तुम्हारा पूरा वंश खत्म हो जाएगा, वो अपने कर्मों की वजह से मुंबई हमले के दौरान मर गए.' हेमंत करकरे मुंबई एटीएस के चीफ थे और मुंबई हमलों के दौरान वह आतंकवादियों की गोलियों का शिकार हो गए थे.

भारतीय जनता पार्टी ने हेमंत करकरे पर साध्वी प्रज्ञा द्वारा दिए गए बयान से खुद को अलग कर लिया था. बीजेपी ने बयान जारी कर कहा था, 'भारतीय जनता पार्टी का स्पष्ट मानना है कि हेमंत करकरे आतंकवादियों से बहादुरी से लड़ते हुए वीरगति को प्राप्त हुए थे. बीजेपी ने उनको हमेशा शहीद माना है. जहां तक साध्वी प्रज्ञा के बयान का विषय है, तो वह उनका निजी बयान है. उन्होंने यह बयान वर्षों तक हुई शारीरिक और मानसिक प्रताड़ना के कारण दिया गया होगा.

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