नरसिंह राव के आदेश पर 1992 में हुई थी सोनिया गांधी की जासूसी

Update: 2016-06-25 11:15 GMT
नई दिल्ली: सोमवार को एक किताब प्रकाशित होने वाली है, जिस किताब में कांग्रेस के प्रधानमंत्री रहे नरसिंह राव और सोनिया गांधी को लेकर बड़ा खुलासा किया गया है। इस खुलासे में बताया गया है कि नरसिंह राव के आदेश पर कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी की जासूसी की गई।

6 दिसंबर 1992 को अयोध्या में विवादित बाबरी मस्जिद गिराए जाने के अगले ही दिन तत्कालीन प्रधानमंत्री नरसिंह राव ने आईबी के जासूसों को एक आदेश दिया था। इस आदेश में सोनिया गांधी के निवास 10 जनपथ पर नज़र रखने को कहा गया।

ये चौंकाने वाला खुलासा विनय सीतापति की किताब  Half-Lion: How P V Narasimha Rao Transformed India में किया गया है। किताब के मुताबिक सोनिया गांधी के घर तैनात आईबी के जासूसों को आदेश दिया गया कि कांग्रेस के कौन-कौन से नेता सोनिया से बातचीत में नरसिंह राव का विरोध कर रहे हैं।

किताब के मुताबिक नरसिंह राव को आईबी ने इस बारे में एक लिखित रिपोर्ट दी। जिसमें बताया गया कि सोनिया से बातचीत के दौरान अर्जुन सिंह, दिग्विजय सिंह, अजीत जोगी, सलामतुल्ला और अहमद पटेल ने अयोध्या के हालात से निपटने के प्रधानमंत्री के तरीके पर नाराज़गी ज़ाहिर की है।

किताब के मुताबिक नरसिंह राव के आदेश पर आईबी ने इस बार भी उन्हें तमाम नेताओं के बारे में ये जानकारी बाकायदा एक लिस्ट की शक्ल में लिखकर दी। मिसाल के तौर पर आईबी की इस लिस्ट में लिखा था। मणिशंकर अय्यर-राज्य-तमिलनाडु, जाति-ब्राह्मण, उम्र 52 साल, 10 जनपथ समर्थक, अयोध्या मुद्दे पर प्रधानमंत्री के आलोचक।
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