नक्सलियों से मुठभेड़ में डिप्टी कमांडेंट को गोली लगी, तो पिता बोले- बेटा अभी और दुश्मनों को मारो
The deputy commandant was shot in an encounter with Naxalites, then the father said - Son, now kill more enemies
अयोध्या : रात 8:30 का समय था। जब सीआरपीएफ के डिप्टी कमांडेंट दीपक तिवारी ने अपने पिता कैलाश नाथ तिवारी से बात की। कहा पिता जी, दुश्मनों को छोडूंगा नहीं। यह चोट तो मामूली है। चिंता मत करिएगा। अम्मा से बोल दीजिएगा परेशान मत हो।
यह बात सीआरपीएफ के डिप्टी कमांडेंट दीपक तिवारी की है जो अयोध्या के निराला नगर के रहने वाले हैं। वैसे तो वह खजुरहट के मूल निवासी हैं लेकिन काफी समय से निराला नगर में अपने पिता के साथ रहते हैं।
झारखंड में देश के दुश्मनों से लोहा लेते हुए जब दीपक तिवारी के घायल होने की सूचना परिवार तक पहुंची तो सभी व्याकुल हो उठे। लेकिन 8:30 बजे का वह समय और परिवार से कुछ देर की बात ना सिर्फ दीपक बल्कि पूरे परिवार को नई ऊर्जा और देशभक्ति से ओतप्रोत कर गया।
दीपक तिवारी की माता सुमन ने बताया कि पहले तो वह बहुत घबरा गई थी, लेकिन जब पता चला कि उनके पुत्र ने देश के दुश्मनों को मुंह तोड़ जवाब दिया है तो गर्व से उनका ललाट दमक उठा। दीपक की पत्नी इंद्रा भी पति के शौर्य पर काफी गर्व करती हैं। दीपक का भरा पूरा परिवार है। जानकारी मिलने पर आसपास के बड़ी संख्या में लोग दीपक के घर पहुंचे। लोगों ने दीपक के पराक्रम को सराहा और कहा कि ऐसा बहादुर योद्धा राम नगरी को गौरवान्वित करने वाला है।