जागे अफसर : अढ़ावल खण्ड 11 पर दूसरी एफआईआर दर्ज
- पहले जलधारा बांधने पर दर्ज हुआ था मुकदमा
फतेहपुर । जिले की अढ़ावल खण्ड 11 मोरंग खदान में संयुक्त टीम द्वारा आकस्मिक छापेमारी कर अवैध खनन पाए जाने पर खदान संचालक के खिलाफ अवैध खनन का मुकद्दमा दर्ज कर पट्टा निरस्तीकरण की संस्तुति की है। जिले में संचालित अढ़ावल खण्ड 11 मोरंग खदान में खदान संचालक द्वारा खदान संचालन के शुरुआती दिनों से ही एनजीटी नियमावली की धज्जियां उड़ा बड़ी बूम वाली मशीनों से रात दिन नदी का सीना छलनी कर बड़े पैमाने पर मोरंग का अवैध खनन किया जा रहा था।
हद तो तब हो गई थी जब संचालक ने जलधारा को बांधकर अवैध खनन करना प्रारम्भ कर दिया था जिसकी खबरें कई बार स्पेशल कवरेज न्यूज ने प्रमुखता से प्रकाशित की थी। जिस पर जिला प्रशासन ने 20 दिसम्बर 2020 को छापा मार अवैध खनन पाए जाने पर एफआईआर दर्ज कराई थी। जिसके बाद भी संचालक की करतूतों में सुधार नहीं हुआ। उधर शहर निवासी विकास पाण्डेय ने उपरोक्त खदान समेत जिले में संचालित अन्य कई मोरंग खदानों में ब्याप्त अनियमितता के खिलाफ एनजीटी में केस भी दर्ज कराया था। स्पेशल कवरेज न्यूज में लगातार प्रकाशित हो रही खबरों व एनजीटी तक मामला पहुँचने के बाद सदर एसडीएम प्रमोद झा ने राजस्व व खनिज अधिकारी की संयुक्त टीम के साथ उपरोक्त खदान में आकस्मिक छापेमारी की।
इस दौरान जांच टीम ने पाया कि खदान संचालक द्वारा ओटीपी बन्द होने के बावजूद भी बड़े पैमाने पर मोरंग का अवैध खनन व परिवहन किया जा रहा था। जिस पर एसडीएम ने बड़ी कार्यवाही करते हुए खनिज निरीक्षक को उपरोक्त खदान संचालक रत्ना जादौन पत्नी वीरेन्द्र जादौन के खिलाफ अवैध खनन का मुकद्दमा दर्ज करवाने के आदेश दिये। जिस पर खनिज निरीक्षक ने खदान संचालक के खिलाफ स्थानीय थाने में अवैध खनन का मुकद्दमा दर्ज करवाया है।
साथ ही जिला प्रशासन से उपरोक्त खदान के पट्टा निरस्तीकरण की संस्तुति भी की है। इस दौरान टीम ने खदान के रास्ते मे फर्राटा भर रहे ओवरलोड पाए जाने पर लगभग 11 ट्रकों को सीज कर दिया। प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा की गई बड़ी कार्यवाही से उक्त मोरंग खदान समेत अन्य खदान संचालकों में भी कार्यवाही के भय से हड़कम्प मचा रहा। जिन्होंने अपनी अपनी खदानों में खनन व मोरंग ओवरलोडिंग का कार्य पूरी तरह बंद रखा।