पश्चिम बंगाल विधानसभा में बीजेपी के विधायक 77 से घटकर हुए 75 जानें क्यों
बीजेपी ने इस बार 77 सीटों पर जीत दर्ज की।
कोलकाता: पश्चिम बंगाल में विधान सभा चुनाव जीतने के बाद बीजेपी के दो सांसदों ने विधायकी से इस्तीफा दे दिया है दोनों सांसद जगन्नाथ सरकार (Jagannath Sarkar) और निशीथ प्रामाणिक (Nishith Pramanik) ने अपना इस्तीफा सौंप दिया।राणाघाट से सांसद जगन्नाथ सरकार और कूच बिहार से सांसद प्रमाणिक ने विधानसभा जाकर विधानसभा अध्यक्ष बिमान बनर्जी को अपना त्यागपत्र सौंपा।
प्रमाणिक ने कहा कि बीजेपी नेतृत्व के निर्देश पर वे विधायक पद से इस्तीफा दे रहे हैं। भाजपा ने पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में दो अन्य लोकसभा सांसदों बाबुल सुप्रियो और लॉकेट चटर्जी के अलावा राज्यसभा सांसद स्वप्न दासगुप्ता को भी मैदान में उतारा था। हालांकि, वे चुनाव हार गए।
जगन्नाथ सरकार ने कहा, 'बीजेपी ने पिछले विधानसभा चुनाव में मिली तीन सीटों से काफी अच्छा प्रदर्शन करते हुए इस बार 77 सीटों पर जीत दर्ज की। सरकार संचालन में अनुभवी लोगों को जोड़ने के लिए कुछ सांसदों को भी विधानसभा चुनाव मैदान में उतारा गया था।'उन्होंने कहा कि लेकिन पार्टी राज्य में सरकार गठन के अपने लक्ष्य को प्राप्त नहीं कर सकी।
उधर बीजेपी सांसदों के विधायक पद से इस्तीफे के बाद टीएमसी ने चुटकी ली है टीएमसी के सांसद डेरेक ओ ब्रायन ने कहा, 'बीजेपी ने बंगाल चुनाव में अपने 4 लोक सभा सांसद और एक राज्य सभा सांसद को मैदान में उतारा था, उनमें से 3 चुनाव हार गए और 2 जीते...
जगन्नाथ सरकार ने इस बात पर जोर दिया कि सांसद रहने के बावजूद उनका विधानसभा चुनाव लड़ना और जीतने के बाद इस्तीफा देना बीजेपी की किसी भी तरह संगठनात्मक कमजोरी को नहीं दर्शाता। प्रमाणिक ने कहा कि वे एकसाथ लोकसभा और राज्य विधानसभा के सदस्य नहीं रह सकते। प्रमाणिक ने दिनहाटा सीट से तृणमूल कांग्रेस के उम्मीदवार उदयन गुहा को मात्र 57 वोटों से हराया था जबकि जगन्नाथ सरकार ने संतिपुर सीट से अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी के 15,878 मतों से हराया।