सुपरटेक के मालिक को भेजा गया 14 दिन की न्यायिक हिरासत में
अदालत ने यह भी कहा कि ऐसे आरोप में आवेदक धोखाधड़ी का मुख्य साजिशकर्ता है और उसने जानबूझकर सीधे तौर पर 600 से अधिक खरीदारों को धोखा देकर अपराध आय अर्जित की है और इसका दुरुपयोग किया है।
ईडी ने दिल्ली पुलिस हरियाणा पुलिस और यूपी पुलिस के द्वारा दर्ज की गई f.i.r. के अनुसार पीएमएलए के तहत सुपरटेक कंपनी के खिलाफ कड़ाई से जांच करना शुरू कर दिया है।दिल्ली की एक अदालत ने सोमवार को रियल एस्टेट कंपनी के चेयरमैन आरके अरोड़ा को 24 जुलाई तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।यानी अब सुपर टेक के चेयरमैन 14 दिन की न्यायिक हिरासत में रहेंगे।
अदालत ने यह भी कहा कि ऐसे आरोप में आवेदक धोखाधड़ी का मुख्य साजिशकर्ता है और उसने जानबूझकर सीधे तौर पर 600 से अधिक खरीदारों को धोखा देकर अपराध आय अर्जित की है और इसका दुरुपयोग किया है।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने अदालत के समक्ष कहा कि हिरासत के दौरान अरोड़ा के बयान टालमटोल करने वाले और असहयोगी थे।
आरोपी की ओर से हांडू ने कहा,आरोपी का प्रतिनिधित्व कर रहे आरके हांडू ने गिरफ्तारी के आधार की एक प्रति की मांग करते हुए एक आवेदन दायर किया।मेरी आज़ादी छीनी जा रही है। एक तरफ, मेरी जांच पूरी हो रही है और दूसरी तरफ मुझे गिरफ्तार किया जा रहा है।उन्होंने तर्क दिया कि गिरफ्तारी के आधार के अभाव में आरोपी उचित जमानत याचिका दायर नहीं कर पाएगा।13 जुलाई को गिरफ्तारी के आधार पर बहस के लिए मामले को सूचीबद्ध करते हुए,पटियाला हाउस कोर्ट के अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश, देवेंद्र कुमार जांगला ने कहा कि विस्तृत चर्चा की आवश्यकता है।
आरोपी द्वारा तिहाड़ जेल से पारगमन के दौरान वैन में अपने लिए अलग संरक्षित सीट की मांग करते हुए एक आवेदन भी दायर किया गया था। अदालत ने इससे इनकार किया लेकिन कहा,इस बीच, लॉक-अप प्रभारी द्वारा लॉक-अप से जेल परिसर तक पारगमन के दौरान आरोपी की सुरक्षा सुनिश्चित की जानी चाहिए।
अदालत ने जेल अधीक्षक को यह भी निर्देश दिया कि वह आरोपी को न्यायिक हिरासत के दौरान उनकी इच्छा के अनुसार दवाएं और चश्मा उपलब्ध कराएं।
27 जून को ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग मामले में अरोड़ा को गिरफ्तार किया था। इसके बाद उन्हें 10 जुलाई तक 12 दिन की ईडी हिरासत में भेज दिया गया।
11 अप्रैल को ईडी ने सुपरटेक और उसके निदेशकों की 40.39 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त की थी। ईडी ने दिल्ली पुलिस, हरियाणा पुलिस और यूपी पुलिस द्वारा दर्ज की गई एफआईआर के आधार पर पीएमएलए के तहत सुपरटेक ग्रुप ऑफ कंपनीज के खिलाफ जांच शुरू की थी।
ईडी के एक प्रवक्ता ने कहा था,यह आरोप लगाया गया था कि कंपनी और उसके निदेशक संभावित खरीदारों से बुक किए गए फ्लैटों के बदले अग्रिम धनराशि एकत्र करके लोगों को धोखा देने की आपराधिक साजिश में शामिल थे।