मोदी ने रविवार को उन्नाव में चुनावी जनसभा को संबोधित करते हुए सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव की सरकार को 'परिवारवादियों' की सरकार बताया। उन्होंने तंज कसते हुए कहा, इन घोर परिवारवादियों की सरकार में संगीन अपराधों के आरोपी और माफिया मंत्रिमंडल का हिस्सा थे। तब माफिया ही सरकार चलाते थे। प्रशासन को भी सीधा आदेश देते थे, न खाता न बही, जो माफिया और गुंडे कहेंगे,वही सही।
पीएम मोदी ने विपक्ष पर तंज कसते हुए कहा, 10 मार्च के बाद ये लोग कहेंगे, भाजपा की वैक्सीन लगी थी इसलिए उंगली कमल के फूल पर चली गई। 10 मार्च के बाद विपक्ष को फिर से एक नया अरोप लगाने का बहाना मिल जाएगा।
पीएम मोदी के भाषण में मुख्य रूप से सपा रही। उन्होंने कहा, अखिलेश पर बुजुर्गों, यहां तक कि अपने पिता और सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव तक को अपमानित करने का आरोप लगाया। उन्होंने अखिलेश या मुलायम सिंह का नाम लिए बिना कहा, जिस सीट को ये लोग सबसे सुरक्षित मानकर बैठे थे, वो भी हाथ से निकल रही है।
आपने देखा होगा, जिस पिता को मंच से धक्के देकर हटाया था, जिसे अपमानित करके पार्टी पर कब्जा जमाया था, उसी से गुहार लगानी पड़ी की मेरी सीट बचाइए। उल्लेखनीय है कि अखिलेश विधानसभा चुनाव में मैनपुरी की करहल सीट से सपा प्रत्याशी हैं। दो दिन पहले उन्होंने पिता मुलायम और चाचा शिवपाल सिंह के साथ इटावा और मैनपुरी में रोड शो किया था।
मोदी ने चुनाव में भाजपा की जीत के प्रति भरोसा जताते हुए कहा, ये परिवारवादी लोग कुछ क्षेत्रों को अपना साम्राज्य समझते हैं। ये सोचते हैं कि जो ये कहेंगे जनता वही करेगी लेकिन आज तीसरे चरण में उत्साह के साथ मतदान कर रही उत्तर प्रदेश की जनता कह रही है- आएगी तो भाजपा ही, आएंगे तो योगी ही।
उन्होंने भाजपा सरकार की उपलब्धियों का जिक्र करते हुए कहा कि पूर्ववर्ती सरकारों में दंगा-कर्फ्यू, फिरौती से व्यापारियों और कारोबारियों का जीवन चौबीसों घंटे संकट में रहता था। भाजपा सरकार इस अंधेरगर्दी से यूपी को बाहर निकालकर लाई है। प्रधानमंत्री ने कहा कि जिस यूपी की छवि इन लोगों ने ऐसी बना दी थी कि यहां कुछ बदल नहीं सकता है। उस यूपी में योगी जी की सरकार ने कानून व्यवस्था को सुधारकर दिखाया है।
मोदी ने अखिलेश पर पुलिसकर्मियों के प्रति अपमाजनक भाषा का इस्तेमाल करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, एक पार्टी का अध्यक्ष यूपी की पुलिस को, हमारे इन सिपाहियों को किस भाषा में अपमानित कर रहा है, उसका वीडियो आज घर घर देखा जा रहा है। मंच से दी गई वो गालियां, वो धमकी सिर्फ यूपी की पुलिस के लिए नहीं थी। वो अपने उन दंगाई, दबंग और माफिया दोस्तों की हिम्मत बढ़ाने का प्रयास था। गौरतलब है कि अखिलेश का हाल ही में एक वीडियो वायरल हुआ था जिसमें वह एक जनसभा में पुलिसकर्मियों को डांट रहे हैं।
मोदी ने अखिलेश पर कोरोना के टीके का भी विरोध करने का आरोप लगाते हुए कहा कि दुनिया के दर्जनों देश भारत में बने टीकों के लिए कतार में थे लेकिन इन लोगों ने गरीब का जीवन बचाने वाले टीके के खिलाफ ही मोर्चा खोल दिया। उन्होंने कहा कि कोरोना के टीके को भाजपा का टीका तक बता दिया गया।
प्रधानमंत्री ने कहा, महामारी के इस समय में हमने कदम कदम पर गरीब परिवारों का साथ दिया है। उज्ज्वला योजना की लाभार्थी बहनों को कईं महीनों तक मुफ्त गैस सिलेंडर दिया। हजारों करोड़ रुपये महिलाओं के जन धन खातों में जमा किए। छोटे किसानों और मजदूरों के बैंक खातों में भी सीधे हजारों करोड़ रुपये जमा किए। उन्होंने विपक्षी दलों पर जनता की मौलिक जरूरतों को नजरंदाज करने का आरोप लगाया।
मोदी ने कहा, घोर परिवारवादियों को न तो प्रदूषण से कराहती गंगा मां की चिंता थी और न ही गरीब, पिछड़े परिवारों की माताओं बेटियों और बहनों की कोई चिंता थी। ये डबल इंजन की सरकार है जो आज हर घर जल पहुंचाने में जुटी है। प्रधानमंत्री ने कहा कि आज़ादी के इतने दशकों तक इन छोटे किसानों की चिंता किसी ने नहीं की। डबल इंजन सरकार ने पहली बार छोटे किसानों को नीति-नर्मिाण के केंद्र में रखा है। पीएम किसान सम्मान योजना और 60 वर्ष के बाद पेंशन की योजना इसका बड़ा प्रमाण है।