लखीमपुर कांड पर भाजपा बंटी हुई दिख रही है..
वरुण गांधी ने साफ तौर पर कहा है कि अहिंसा के पुजारी गांधी जी जयंती के अगले ही दिन लखीमपुर खीरी में हमारे अन्नदाताओं की हत्या की गई है जो अक्षम्य अपराध है
लखनऊ : यूपी के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के रविवार को लखीमपुर खीरी के दौरे से पहले हुई हिंसा में आठ लोगों की जान चली गई।
लखीमपुर खीरी के तिकुनिया में काले झंडे दिखाने के लिए खड़े किसानों की बीजेपी नेताओं से झड़प हो गई। आरोप है कि इसी दौरान प्रदर्शन कर रहे किसानों पर केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय कुमार मिश्र के बेटे ने किसानों पर गाड़ी चढ़ा दी, जिसमें चार किसानों की मौत हो गई। इसके बाद आक्रोशित किसानों ने गाड़ी नेताओं ने फूंक दी। किसान और बीजेपी कार्यकर्ताओं के बीच हिंसक झड़प हुई।
केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा ने जहां किसानों को बब्बर खालसा से जोड़ा है, वहीं भाजपा सांसद वरूण गांधी ने किसानों को भाई बताया और मामले की जांच सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में कराने की मांग की है।
न केवल विपक्षी दलों बल्कि सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी के नेताओं ने भी लखीमपुर की घटना के खिलाफ आवाज उठाई है। उत्तर प्रदेश के पीलीभीत से बीजेपी सांसद वरुण गांधी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर मामले की सीबीआई जांच की मांग की है। उन्होंने लखीमपुर कांड के दोषियों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज करने की भी मांग की है।
वरुण गांधी ने साफ तौर पर कहा है कि अहिंसा के पुजारी गांधी जी जयंती के अगले ही दिन लखीमपुर खीरी में हमारे अन्नदाताओं की हत्या की गई है जो अक्षम्य अपराध है।
सोमवार को योगी को लिखे पत्र में वरुण ने राज्य सरकार से मृतक किसानों और अन्य को मुआवजे के रूप में कम से कम एक करोड़ रुपये देने को कहा है. उन्होंने मृतक किसानों को शहीद का दर्जा देकर श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा कि लखीमपुर की घटना उस देश में चौंकाने वाली है, जिसने अहिंसा के उपदेशक महात्मा गांधी की जयंती मनाई थी। वरुण ने कहा कि इस देश में हिंसा की कोई जगह नहीं होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि मामले में संदिग्धों की पहचान कर उनके खिलाफ आईपीसी की धारा 302 के तहत मामला दर्ज कर दोषियों के खिलाफ मामला दर्ज किया जाए।
लखीमपुर कांड उत्तर-प्रदेश चुनाव का टर्निंग पॉइंट साबित हो सकता है।