अनुदेशक संघ के प्रदेश अध्यक्ष विक्रम सिंह ने उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा जारी किए गए आदेश को लेकर कहा, उत्तर प्रदेश का अनुदेशक तो रोबोट है जिसको न भूख लगती,न प्यास लगती,न ठंडी लगती और न गर्मी लगती शायद यही सोचकर उत्तर प्रदेश का शासन और प्रशासन हम 27000 अनुदेशकों के लिए रोज नए नए नियम और कानून बनाती।
अरे हमे नही चाहिए गर्मी और ठंडी की छुट्टियाँ सब अपने पास रख लो न, कौन आपसे गर्मी और ठंडी की छुटियाँ मांग रहा है। उन्होंने कहा, अनुदेशकों के साथ आज जो अमानवीय और क्रूरतम आदेश आया है उसको लेकर परेशान मत हो लड़ाई में आगे- पीछे होता रहता है।
उक्त आदेश के तहत हमलोग कल यानि 17 जून 2022 दिन शुक्रवार से विद्यालय जाएंगे क्यूंकि सरकार को समझ आ गया कि बिना अनुदेशकों के सहारे हम उत्तर प्रदेश के विद्यालय को सुचारू ढंग से नही चला पाएंगे क्यूंकि मीडिया में बड़े बड़े शीर्षक के साथ आया था कि विद्यालय तो 16 जून से खुलेंगे लेकिन पढ़ायेगा कौन? क्यूंकि मीडिया 10 वर्षों से आपके क्रिया-कलापों को देख रही थी आज उत्तर प्रदेश का विद्यालय को कोई चला रहा है तो उत्तर प्रदेश का अनुदेशक चला रहा है।
और तभी सरकार को भी लगा कि अनुदेशक विद्यालय नही जायेगा तो विद्यालय चलेगा कैसे,तभी आनन फानन में आपके खिलाफ तुगलकी फरमान जारी कर दिया गया।
परेशान मत हो साथियों सरकार ने एक ऐसा हथियार हम सबको दे दिया है कि जिसको लेकर हमलोग कोर्ट से 12 महीने का मानदेय भी पाएंगे थोड़ा धैर्य बनाये रखने की जरूरत है क्यूंकि सत्य परेशान होता है,पराजित नही। लड़ेंगे। जीतेंगे और अपना अधिकार लेकर रहेंगे।।।