राज्य मुख्यालय लखनऊ।सियासत भी बहुत रिकार्ड अपने अन्दर राजनैतिक प्रयोगशाला में कांग्रेस नेता व राज्यसभा सांसद राजबब्बर का एक बार फिर परीक्षण होने जा रहा है।जी हां कांग्रेस यूपी के अधयक्ष राजब्बर देश के उन चंद नेताओं में से एक हैं जिनका हर लोकसभा चुनाव में लोकसभा क्षेत्र बदल दिया जाता है।
अब तक वे यूपी की आधा दर्जन लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ चुके हैं।मगर कामयाबी दो सीटों पर ही मिली है।वे लगातार तीन बार लोकसभा में अपना कार्यकाल पूरा कर चुके हैं।1996 में राजबब्बर स्व अटल बिहारी वाजपेयी के खिलाफ सपा के टिकट पर लखनऊ से लड़े और हार गये मगर भाजपाइयों के पसीने छुड़ा दिए।
उसके बाद लगातार दो बार वे आगरा लोक सभा सीट से सांसद रहे ।आगरा सीट सुरक्षित हुई तो पड़ोस वाली सीट फतेहपुर सीकरी से लड़ गये मगर यहां वे हार गये।2009 में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव कन्नौज और फिरोजाबाद से लोकसभा चुनाव लड़े और उन्होंने दोनों सीट पर जीत दर्ज कराई फिरोजाबाद में उपचुनाव हुआ कांग्रेस ने राजबब्बर को फिरोजाबाद से लड़ा दिया।अखिलेश यादव की धर्मपत्नी पहली बार यहां से चुनाव लड़ीं और राजबब्बर ने उन्हें भारी मतों से हराया और सांसद बन गए।
2014 के लोकसभा चुनाव में राज बब्बर को गाज़ियाबाद से कांग्रेस ने टिकट दिया।मोदी लहर में वे हार गये यहां वे दूसरे नम्बर पे रहे।अब 2019 के लोकसभा चुनाव में राज बब्बर को नयी प्रयोग शाला दी गई है।कांग्रेस ने मुरादाबाद लोक सभा सीट से राज बब्बर को इस बार अपना उम्मीदवार बनाया है।अब देखना ये है कि राजबब्बर इस नई प्रयोगशाला में पास होते हैं या फेल ये आने वाला समय बतायेगा।