बीरभूम हिंसा पर राज्यसभा में फूट-फूटकर रोईं रूपा गांगुली, बोलीं- बंगाल रहने लायक नहीं रहा, लागू हो राष्ट्रपति शासन

Update: 2022-03-25 07:31 GMT

संसद के बजट सत्र के दूसरे चरण में शुक्रवार को राज्यसभा में बीरभूम में हुई घटना पर जोरदार हंगामा किया गया. राज्यसभा सदस्य रूपा गांगुली (BJP MP Roopa Ganguly) ने बीरभूम का मुद्दा उठाया और बात करते-करते वे फफक-फफक कर रोने लगीं.

बीजेपी सांसद रूपा गांगुली ने रोते हुए राज्यसभा में कहा, "हम पश्चिम बंगाल में राष्ट्रपति शासन की मांग करते हैं. वहां सामूहिक हत्याएं हो रही हैं, लोग वहां से भाग रहे हैं ... राज्य अब रहने योग्य नहीं है."

आगे उन्होंने कहा "पश्चिम बंगाल में लोग बोल नहीं सकते. सरकार हत्यारों को बचा रही है. कोई दूसरा राज्य नहीं है जहां सरकार चुनाव जीतने के बाद लोगों को मारती है. हम मनुष्य हैं. हम पत्थर दिल की राजनीति नहीं करते."

बीरभूम जिले के रामपुरहाट में 21 मार्च को हिंसा (Birbhum violence) भड़क गई थी. कुछ लोगों की भीड़ ने आम लोगों के घरों में आग लगा दी, जिसमें 8 लोगों की मौत हो गई. मरने वालों में 3 महिलाएं और 2 बच्चे भी शामिल हैं.

उन्होंने कहा कि पहले एक काउंसलर को मारा, एक उप प्रधान को मारा. इसके बाद मास किलिंग हुआ और किसने मारा कुछ पता नहीं. एक एक करके लोगों को मारा जा रहा है. लोग वहां से भाग रहे हैं. लोग वहां जीने लायक नहीं रह गए हैं. पश्चिम बंगाल भारत का अंग है, हमें वहां राष्ट्रपति शासन चाहिए, हमें जीने का हक है. यह कोई अपराध नहीं हैं कि हमने पश्चिम बंगाल में जन्म लिया है. यह अपराध नहीं हो सकता. दक्षिणेश्वर महाकाली की भूमि है.

इसके बाद राज्यसभा में जोरदार हंगामा हुआ, रूपा गांगुली की हालत देखखर उन्हें डिप्टी चेयरमैन ने खुद को संभालने के लिए कहा. इसके बाद राज्यसभा को कुछ देर के लिए स्थगित कर दिया गया. रूपा गांगुली ने कहा कि पश्चिम बंगाल में लोग बोल नहीं सकते. सरकार हत्यारों को बचा रही है. ऐसा कोई दूसरा राज्य नहीं है जहां सरकार चुनाव जीतने के बाद लोगों को मारती है. हम मनुष्य हैं. हम पत्थर दिल राजनीति नहीं करते.

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