तवांग में भारतीय सेना से झड़प पर चीन का पहला रिएक्शन, बोली ये बात

Update: 2022-12-13 08:39 GMT

: 9 दिसंबर को अरुणाचल के तवांग सेक्टर में भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच झड़प हुई थी. सोची समझी साजिश के तहत 300 चीनी सैनिक यांगत्से इलाके में भारतीय पोस्ट को हटाने पहुंचे थे. चीनी सैनिकों के पास कंटीली लाठी और डंडे भी थे. लेकिन भारतीय सैनिकों ने तुरंत मोर्चा संभाल लिया. सूत्रों के मुताबिक, झड़प में चीन के ज्यादा सैनिक घायल हुए हैं.

अरुणाचल प्रदेश के तवांग में भारत और चीनी सैनिकों के बीच झड़प पर चीन ने पहली प्रतिक्रिया दी है. चीन का कहना है कि भारतीय सीमा पर स्थिति 'स्थिर' है. समाचार एजेंसी AFP के मुताबिक, चीन ने काबुल में चीनी इमारत पर हुए हमले पर भी दुख जताया है. चीन ने कहा कि हम चकित हैं और हर तरह के आतंकवाद का विरोध करते हैं.

इससे पहले सोमवार को अफगानिस्तान के काबुल में एक होटल में धमाका हुआ था. इस होटल को चाइनीज होटल कहा जाता है क्योंकि यहां वरिष्ठ चीनी अधिकारियों का आना जाना लगा रहता है. इस हमले में 3 लोगों की मौत हुई है और 18 लोग घायल हुए हैं. इनमें से 5 चीनी नागरिक हैं. जानकारी के मुताबिक, हमलावर होटल के अंदर गोलियां चलाते हुए घुसे थे.

चीन ने साध रखी थी चुप्पी

तवांग में 9 दिसंबर को भारत और चीनी सैनिकों के बीच झड़प हुई थी. लेकिन चीन ने अब तक इस मुद्दे पर चुप्पी साध रखी थी. भारतीय सेना की ओर से सोमवार को बयान जारी कर बताया गया था कि चीन की कोशिश को हमारे सैनिकों ने नाकाम कर दिया. इस दौरान दोनों पक्षों के सैनिकों को चोटें आई हैं.

9 दिसंबर को क्या क्या हुआ था, राजनाथ सिंह ने बताया?

इससे पहले रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मंगलवार को संसद में बताया कि 9 दिसंबर 2022 को PLA सैनिकों ने अरुणाचल के तवांग सेक्टर के यांग्त्से में एलएसी पर अतिक्रमण कर यथास्थिति को एकतरफा बदलने का प्रयास किया. चीन के इस प्रयास का हमारी सेना ने दृढ़ता के साथ सामना किया. इस दौरान दोनों पक्ष आमने सामने आ गए. हाथापाई भी हुई. इस झड़प में दोनों ओर के कुछ सैनिकों को चोटें आईं. लेकिन मैं सदन को बताना चाहता हूं कि झड़प में हमारे किसी भी सैनिक की मृत्यु नहीं हुई और न ही कोई गंभीर रूप से घायल हुआ.

भारत ने कूटनीतिक स्तर पर उठाया मुद्दा- राजनाथ

राजनाथ सिंह ने कहा कि भारतीय सेना के कमांडर ने समय रहते हस्तक्षेप किया और चीन के सैनिक वापस अपनी लोकेशन पर चले गए. इस घटना के बाद क्षेत्र के स्थानीय कमांडर ने 11 दिसंबर 2022 को अपने चीनी समकक्ष के साथ फ्लैग मीटिंग की और घटना पर चर्चा की. चीनी पक्ष को इस तरह की कार्रवाई से मना किया गया और सीमा पर शांति बनाए रखने के लिए कहा गया. इस मुद्दे को चीनी पक्ष के साथ कूटनीतिक स्तर पर भी उठाया गया है. 

सोर्स आज तक 

Tags:    

Similar News