केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी में कटौती जैसे किसी भी प्रस्ताव पर सरकार विचार नहीं कर रही है। मीडिया एक वर्ग में आईं इस तरह की रिपोर्ट्स पूरी तरह से फर्जी और आधारहीन हैं। केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने कर्मचारियों की सैलरी में कटौती की अफवाहों का खंडन करते हुए यह बात कही है। सोमवार को शाम को वित्त मंत्रालय ने ट्वीट कर ऐसी खबरों का खंडन किया। मंत्रालय ने ट्वीट किया, केंद्रीय कर्मचारियों के वेतनमान में किसी भी तरह की कटौती के किसी प्रस्ताव पर विचार नहीं चल रहा है।
मीडिया के एक वर्ग में चली ऐसी खबरें गलत और आधारहीन हैं। दरअसल मंत्रालय की ओर से यह खंडन उन खबरों के बाद आया है, जिनमें कहा जा रहा था कि मोदी सरकार केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी में 30 फीसदी तक की कटौती पर विचार कर रही है। इससे पहले अप्रैल महीने में केंद्र सरकार की ओर से कर्मचारियों के बढ़े हुए डीए के भुगतान को रोक दिय़ा गया था। इसके अलावा जुलाई 2021 तक डीए में किसी इजाफे को स्थगित कर दिया गया है।
केंद्र सरकार के उस फैसले के बाद से ही तमाम तरह की अफवाहें कई बार चलती रही हैं। पिछले ही दिनों मौजूदा डीए की दरों में भी कटौती की एक चर्चा चल निकली थी, जिसका केंद्रीय कार्मिक राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर खंडन किया था। डीए में रोक केंद्र सरकार के फैसले से देश भर के 1.4 करोड़ केंद्रीय कर्मचारी और पेंशनर प्रभावित हुए हैं। अप्रैल के आखिरी सप्ताह में डीए रोकने का आदेश देते हुए वित्त मंत्रालय ने कहा था, केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनरों के बढ़े हुए महंगाई भत्ते को रोकने का फैसला लिया गया है, जिसका भुगतान 1 जनवरी, 2020 से किया जाना था। इसके अलावा 1 जून, 2021 तक बढ़ोतरी को भी स्थगित करने का निर्णय लिया गया है।
हालांकि इसके साथ ही केंद्र सरकार ने यह भी स्पष्ट किया था कि कर्मचारियों को मौजूदा डीए मिलता रहा है। फिलहाल कर्मचारियों को 17 फीसदी की दर से महंगाई भत्ते का भुगतान किया जाता है। Coronavirus से जुड़ी जानकारी के लिए यहां क्लिक करें: कोरोना वायरस से बचना है तो इन 5 फूड्स से तुरंत कर लें तौबा, जानिये- किसे मास्क लगाने की जरूरत नहीं और किसे लगाना ही चाहिए, इन तरीकों से संक्रमण से बचाएं, क्या गर्मी बढ़ते ही खत्म हो जाएगा कोरोना वायरस?",