एलोपैथी पर रामदेव के बयान पर भड़के केंर्दीय मंत्री डॉ. हर्षवर्धन, दी ये नसीहत!
डॉ. हर्षवर्धन ने उन्हें पत्र लिखकर अपना आपत्तिजनक वक्तव्य वापस लेने को कहा है।
योगगुरु रामदेव के एलोपैथी वाले बयान को लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने उन्हें खत लिखकर अपना बयान वापस लेने को कहा है। डॉ. हर्षवर्धन ने अपने ट्विटर हैंडल पर वह पत्र भी सार्वजनिक किया है। इससे पहले उन्होंने ट्विटर हैंडल पर कैप्शन में लिखा है, संपूर्ण देशवासियों के लिए #COVID19 के खिलाफ़ दिन-रात युद्धरत डॉक्टर व अन्य स्वास्थ्यकर्मी देवतुल्य हैं। बाबा रामदेव के वक्तव्य ने कोरोना योद्धाओं का निरादर कर,देशभर की भावनाओं को गहरी ठेस पहुंचाई है। मैंने उन्हें पत्र लिखकर अपना आपत्तिजनक वक्तव्य वापस लेने को कहा है।
उन्होंने लिखा कि एलोपैथिक दवाओं और डॉक्टरों पर की गई आपकी टिप्पणी से देशवासी बेहद आहत हैं। लोगों की इस भावना से मैं आपको फोन पर पहले भी अवगत करा चुका हूं। संपूर्ण देशवासियों के लिए कोरोना के खिलाफ दिन-रात युद्धरत डॉक्टर व अन्य स्वास्थ्यकर्मी देवतुल्य हैं। आपने अपने बयान से न केवल कोरोना योद्धाओं को निरादर किया, बल्कि देशवासियों की भावनाओं को भी गहरी ठेस पहुंचाई है। शनिवार को जो आपने स्पष्टीकरण जारी किया था, वह लोगों की चोटिल भावनाओं पर मरहम लगाने में नाकाफी है।
उन्होंने आगे लिखा कि कोरोना महामारी के इस संकट भरे दौर में जब एलोपैथी और उससे जुड़े डॉक्टरों ने करोड़ों लोगों को नया जीवनदान दिया है, तब आपका यह कहना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि लाखों कोरोना मरीजों की मौत एलोपैथी दवा खाने से हुई।
जानें- क्या है मामला
बता दें कि योग गुरु बाबा रामदेव की दो मिनट 19 सेकेंड का एक वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहा है। इसमें बाबा रामदेव साधकों के सामने अपने फोन पर मैसेज पढ़ते हुए दिख रहे हैं। जिसमें उनकी ओर से एलोपैथिक दवाओं पर कई गंभीर सवाल उठाए जा रहे हैं। उनका कहना है कि एलोपैथिक की सभी दवाइयां फेल हो गई हैं। बुखार की तक दवा काम नहीं कर रही है। दवा शरीर का तापमान तो नीचे उतार देती है, लेकिन बुखार क्यों आ रहा है, उसका निवारण नहीं है। वीडियो में बाबा रामदेव कह रहे हैं कि लाखों कोरोना मरीजों की मौत एलोपैथी दवा खाने से हुई है।
इंडियन मेडिकल एसोसिएशन ने भेजा कानूनी नोटिस
वीडियो के सोशल मीडिया पर वायरल होने पर इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) ने कड़ी आपत्ति जताई है। आईएमए ने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन से रामदेव के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग की है। आईएमए ने रामदेव के बयान पर उन्हें कानूनी नोटिस भेजा है। वहीं रामदेव के बयान के बाद विवाद खड़ा होने पतंजलि योगपीठ के महामंत्री आचार्य बालकृष्ण ने सफाई दी है। उन्होंने कहा कि बाबा रामदेव सिर्फ एक व्हाट्सएप मैसेज पढ़ रहे थे। मॉर्डन साइंस और अच्छे डॉक्टरों के खिलाफ उनकी गलत मंशा नहीं थी। बाबा रामदेव मॉर्डन साइंस एक प्रोग्रेसिव साइंस पर विश्वास करते हैं।
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