Mukhtar Ansari Banda Jail to Lucknow Live update : बाहुबली मुख्तार अंसारी अब एंबुलेस से लखनऊ रवाना
उत्तर प्रदेश की बांदा जेल से पेशी के लिए बाहुबली मुख्तार अंसारी को लखनऊ लाया जा रहा है. एंबुलेंस और वज्र वाहन के साथ मुख्तार अंसारी को लखनऊ लाया जा रहा है. मुख्तार को एंबुलेंस में रखा गया है. एंबुलेंस में एक फार्मासिस्ट, डॉक्टर और पुलिसकर्मी बैठे हैं. मुख्तार को फतेहपुर, रायबरेली के रास्ते लखनऊ लाया जा रहा है.
मुख्तार अंसारी की आज लखनऊ कोर्ट में पेशी होनी है. उन पर लखनऊ के जियामऊ इलाके में फर्जी दस्तावेजों के आधार पर शत्रु संपत्ति हथिया कर उस पर अवैध निर्माण कराने का आरोप है. इस मामले में मुख्तार अंसारी के साथ ही उनके बेटे उमर अंसारी और अब्बास अंसारी पर भी केस दर्ज किया गया था.
सुबह-सुबह बांदा जेल से मुख्तार अंसारी को लेकर एंबुलेंस लखनऊ के लिए निकली गई. एंबुलेंस के साथ एक वज्र-वाहन है, जिसमें पुलिसकर्मी हैं. इसके अलावा हर जिले की पुलिस एंबुलेंस को सुरक्षा देगी. अभी-अभी मुख्तार को लखनऊ ला रही एंबुलेंस बांदा से फतेहपुर जिले में पहुंच गई है, जहां से फतेहपुर पुलिस की सुरक्षा में आगे ले जाया जा रहा है.
क्या है पूरा मामला
मुख्तार अंसारी को जिस केस में आज लखनऊ की कोर्ट में पेश होना है, उसे 27 अगस्त 2020 को जियामऊ के लेखपाल सुरजन लाल ने हजरतगंज कोतवाली में दर्ज कराई थी. मुख्तार अंसारी और उसके दोनों बेटों पर आईपीसी की धारा 120 बी, 420, 467,468, 471 व सार्वजनिक संपत्ति नुकसान निवारण अधिनियम 3 में केस दर्ज हुआ था.
डालीबाग स्थित मुख्तार अंसारी के मकान को जांच के बाद फर्जी दस्तावेजों के सहारे शत्रु संपत्ति हथियाने का मामला आया था. इस मामले में लेखपाल सुरजन लाल की तहरीर पर केस दर्ज हुआ था. मुख्तार अंसारी के वकील काजी शबिउर्रहमान ने कल जेल अधीक्षक बांदा को पत्र लिखकर कहा था कि बीमारी के चलते मुख्तार अंसारी को कोर्ट में पेश ना किया जाए.
बेटे ने जताई अनहोनी की आशंका
मुख्तार अंसारी के बेटे और विधायक अब्बास अंसारी ने अनहोनी की आशंका जताई थी. उनका कहना था, 'पूर्व विधायक मुख़्तार अंसारी साहब को अभी देर रात बांदा जेल से लखनऊ ले जाने की तैयारी हो रही है, साज़िश के तहत मेडिकल कैंसल करवा कर और फिर आधी रात को बांदा जेल से लखनऊ ले जाने की ये कथित तैयारी बड़ी अनहोनी घटना की आशंका पैदा कर रही है.'
अपने अगले ट्वीट में विधायक अब्बास अंसारी ने कहा था, 'सारी रात तथा कथित उच्च अधिकारी बांदा जेल के अंदर बाहर करते रहे और मीडिया के द्वारा किए हर सवालों से बचते रहे. अब एंबुलेंस जेल गेट पर खड़ी है पर प्रशासन अभी भी मौन है. अधिकारियों की चुप्पी सरकार को कटघरे मे खड़ा कर रही है.'